हर व्यक्ति अपने घर का सपना देखता है. अपने सपने को पूरा करने के लिए वह मकान बनाता है या फ्लैट बुक करता है. लेकिन जो लोग घर के बनने तक का इंतजार नहीं करना चाहते वे रीसेल होने वाले घरों व फ्लैटों को खरीदने से नहीं हिचकिचाते. जिन फ्लैटों को दूसरी बार बेचा जाता है उन्हें रीसेल फ्लैट कहा जाता है. नए फ्लैटों की तुलना में रीसेल होने वाले फ्लैट की कीमत कम होती है.

किसी भी फ्लैट की कीमत उस फ्लैट की उम्र, इलाके व निर्माण कंपनी पर निर्भर करती है. हालांकि की रीसेल फ्लैट को खरीदने के लिए आपके पास जमा राशि मौजूद होनी चाहिए. कम लोन मिलने पर आपकी पूंजी आपके काम आएगी.

रीसेल मकान या फ्लैट को खरीदते वक्त इन बातों को ध्यान में रखें...

फीस एवं चार्ज

किसी भी संपत्ति को खरीदते वक्त सरकार द्वारा लगाए गए कई शुल्कों का भुगतान करना पड़ता है. इसमें पंजीकरण फीस, स्टांप फीस, हस्तांतरण फीस एवं उपयोगिता हस्तांतरण शुल्क शामिल हैं. संपत्ति को खरीदने के लिए दलाल की मदद लेने पर इसमें दलाली भी जुड़ जाएगी. अतः इन सारे शुल्कों को जोड़ने पर आप कुल कीमत का अंदाजा लगा पाएंगी.

मौजूदा लोन

अक्सर लोग किसी कारणवश अपनी संपत्ति को मॉर्गिज कर देते हैं. ऐसे स्थिति में संपत्ति के सारे दस्तावेज बैंक के पास होते हैं और कर्ज़े के पूर्ण भुगतान के बाद दस्तावेज मकान मालिक को वापस मिलते हैं. यदि संपत्ति मॉर्गिज हुई थी तो मकानदार के पास एन्कम्ब्रन्स प्रमाणपत्र होना चाहिए. कर्जे में डूबे मकान की खरीददारी एक घाटे का सौदा साबित होगी.

मकान की आयु

आगे की कहानी पढ़ने के लिए सब्सक्राइब करें

डिजिटल

(1 साल)
USD10
 
सब्सक्राइब करें

डिजिटल + 24 प्रिंट मैगजीन

(1 साल)
USD79
 
सब्सक्राइब करें
और कहानियां पढ़ने के लिए क्लिक करें...