धारावाहिक ‘दिया बाती और हम’ में आई पी एस अर्पिता खन्ना के नाम से चर्चित होने वाली अभिनेत्री रिशीना कंधारी ने कई बेहतरीन शो और फिल्मों में काम किया है. उन्हें हर कहानी एक नई चुनौती देती है और उन्हें वही पसंद है. हमेशा से अभिनय का क्षेत्र में आने की इच्छा रखने वाली रिशीना के परिवार वालों ने काफी सहयोग दिया है. काम के दौरान रिशीना ने विशाल कंधारी से शादी की और एक बेटी टियारा कंधारी की मां बनी. रिशीना अपनी हॉट तस्वीरों और फिटनेस की वजह से भी जानी जाती है. रिशीना अभी दंगल टीवी पर चर्चित शो ‘ऐ मेरे हमसफर’ में इमरती कोठारी की भूमिका निभा रही है. स्वभाव से विनम्र और हंसमुख रिशीना से उसकी जर्नी के बारें में बात हुई, पेश है कुछ अंश.
सवाल- इस शो में आपकी भूमिका क्या है?
मेरी भूमिका एक चंचल स्वभाव के महिला की है, जो खुराफाती है और सिर्फ अपने लिए काम करती है, लेकिन रियल लाइफ में मैं बहुत शांत स्वभाव की हूं और मुझे दूसरों के लिए काम करना पसंद है.
सवाल- अभिनय की प्रेरणा आपको कहाँ से मिली?
मैंने बचपन से ही अभिनय के बारें में सोचा था, क्योंकि मेरी कजिन भाई मॉडल है. मेरे घर में मेरे नाना बाल कृष्ण जागीरदार भी फ़िल्मी बैकग्राउंड से है. उन्होंने एक फिल्म बनायी थी. माहौल भी फ़िल्मी था, पर मेरी माँ ने पढाई और हर तरह की चीजें सीखने पर अधिक जोर दिया. इससे हमारी आदतें अच्छी हुई. हम सब आज भी घर में सुबह 5 बजे उठ जाते है और खुद के काम निपटाकर दूसरे काम करते है. मेरी माँ ने मुझे हॉर्स राइडिंग और बैडमिन्टन खेलना भी सिखाया है. उन्होंने मुझे सर्वगुणसम्पन्न बनाया है, जिसका फायदा अब मुझे मिल रहा है. लॉक डाउन में घर के सारे काम करना, खाना बनाना सबकुछ करने में कोई समस्या नहीं आई. साथ ही 200 माइग्रेंट वर्कर्स को खाना भी खिलाया है. मैंने काफी देर से अभिनय शुरू किया है. मैंने 19 साल की उम्र में पहला विज्ञापन किया था, इसके बाद जब मेरी बेटी 4 साल की थी, तब मैंने अभिनय शुरू किया. तब मेरी उम्र 24 साल थी.
सवाल- काम के साथ परिवार का सामंजस्य कैसे बैठाती है?
मेरी फॅमिली बहुत अधिक सपोर्टिव है. जब एक शो का ऑफर आया, तो परिवार ने मुझसे पूछा कि मैं काम करना चाहती हूं या नहीं, ऐसे में मुझे निर्णय लेना आसान हुआ. मेरा परिवार मेरे नजदीक शिफ्ट हो गया और उन्होंने मेरी बेटी टियारा की देखभाल की. इसके अलावा मेरे पति विशाल मेरी और मेरी बेटी का बहुत ख्याल रखते है.
ये भी पढ़ें- लोग आपसी मतभेद भूलाकर एक दूसरे से मिलकर रहे – बिलाल अब्बास खान
सवाल- माँ बनने के बाद खुद को फिट कैसे रखा?
मैं जल्दी माँ बन गयी थी, इसलिए मैं और मेरी बेटी में अधिक अंतर नहीं है. दोनों बहने जैसी दिखते है. जल्दी माँ बनने का फायदा भी यह है कि शरीर को खुद से रिकवर करने का मौका मिल जाता है. देर से माँ बनने पर कई समस्याएं आती है, जिससे शरीर को निकलना मुश्किल होता है. मैं अपने शरीर के हिसाब से ही फिट हूं, कुछ अधिक करना नहीं पड़ा. इसके अलावा मैं और मेरी बेटी पति सभी वर्क आउट करते है. जोगिंग, योगा, जिम जाना ये सबकुछ समय के साथ-साथ करते रहते है.
सवाल- क्या कभी आपको नेपोटिज्म और खेमेबाजी का सामना करना पड़ा?
टीवी में नेपोटिज्म और खेमेबाजी नहीं है. ये फिल्म इंडस्ट्री से सम्बंधित है. यहाँ इतने शो बनते है कि हर कलाकार के लिए अभी काम है. हर नया कलाकार टीवी से अभिनय शुरू करता है. अगर कोई नया बड़ा शो न भी मिले, तो छोटे-छोटे एपिसोड के काम अवश्य मिलते है. टीवी में नेपोटिज्म से अधिक फेबोरीटिज्म है. यहाँ एक्टर्स के ग्रुप बन जाते है और उन्ही को बार-बार दोहराया जाता है. जो सही माइने में उचित कलाकार है, उन्हें काम नहीं मिलता. मैंने भी इसका सामना कई बार किया है. अच्छी ऑडिशन देने के बाद भी मुझे उसमें काम करने का मौका नहीं मिला.
सवाल- रिजेक्शन को कैसे लेती है?
रिजेक्शन से दुःख तो होता है, क्योंकि कई बार मुझे और सामने वाले को भी लगता है कि मैं उपयुक्त हूं, पर काम नहीं मिला, पर मैं उसे भूलाकर आगे बढती हूं. मैं अधिकतर ऑडिशन देने के बाद उसे भूल जाती हूं. होना होता है, तो हो जाता है.
सवाल- तनाव होने पर क्या करती है?
तनाव की कोई जगह मेरे पास नहीं है. परिवार, पति और दोस्तों का बहुत सहयोग रहता है. आजकल लोग हैप्पी पिल्स नामक कुछ मेडिसिन तनाव कम करने के लिए लेते है. अगर काम में आप उलझे हुए है, तो तनाव कभी नहीं होगा. इसके अलावा आपको तनाव देने वाली बातों की चर्चा अपने परिवार या दोस्तों से कर लेनी चाहिए. जब लोग अपने अंदर इसे रखते है, तो ये समस्या बन जाती है. मैं कई बार तनाव होने पर एक कप गरम कॉफ़ी पी लेती हूं.
सवाल- किस शो ने आपकी जिंदगी बदली है?
धारावाहिक ‘दिया बाती और हम’ मैं मैंने एक कॉप की भूमिका निभाई थी, जिसके लिए मैंने खुद सारे एक्शन की ट्रेनिंग लेकर उसे किया है. माँ द्वारा मुझे सिखाये गए सारी चीजे अब अभिनय के काम में आ रही है.
सवाल- किस तरह से उत्सव मनाने वाली है?
मुझे उत्सव मनाना बहुत पसंद है, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण की वजह से लोग घरों में मना रहे है और ये सही भी है, क्योंकि सावधानी सभी को बरतने की आवश्यकता है, ताकि सभी स्वस्थ रहे. दिवाली में ज़ूम कॉल पर एक दूसरे से मिले. पटाखे न जलाये. ओजोन लेयर ख़राब हो चुका है. इसलिए कम मात्रा में पटाखे जलाएं.
ये भी पढ़ें- पति वनराज और काव्या की शादी के लिए तैयार हुई अनुपमा! पढ़ें खबर
सवाल- गृहशोभा के जरिये क्या कोई मेसेज देना चाहती है?
मुझे बचपन से गृहशोभा बहुत पसंद है. मेरी माँ इसकी रेसिपी निकाल कर रखती थी. हर गृहणी के लिए ये एक अच्छी किताब है. बहुत कुछ सिखने को मिलता है. महिलाएं जब भी समय मिले कुछ नया सीखे, इससे आपको अपनी प्रतिभा का पता चलेगा और आप जब भी कुछ करना चाहे करें.