क्या कभी आपने त्वचा की बात सुनी?

वैसे तो त्वचा में झुर्रिया उम्र के बढ़ने का एक संकेत होती है, लेकिन कई बार एक्सप्रेसिव फेस, डिहाइड्रेटेड स्किन या अधिक सन एक्सपोज़र से कम उम्र में भी झुर्रियां दिखाई पड़ सकती है. इसका सबसे अधिक असर चेहरे और हाथों की स्किन पर पड़ता है. उम्र को रोका नहीं जा सकता, लेकिन त्वचा की नियमित देखभाल से इसे कम अवश्य किया जा सकता है.

इस बारें में क्यूटिस स्किन क्लिनिक की डर्मेटोलोजिस्ट डॉ. अप्रतिम गोयल कहती है कि त्वचा का हमेशा ही ध्यान रखना चाहिए और ये कम उम्र से ही शुरू करनी चाहिए, ताकि आपकी आदत बनी रहे, क्योंकि त्वचा हमारी छठी सेंस ऑर्गन है और इसका ख्याल रखना सबसे अधिक आवश्यक है.

झुर्रियां पड़ने की खास वजह

डॉ. अप्रतिम आगे कहती है कि उम्र के बढ़ने के साथ त्वचा पतली और रुखी हो जाती है, इससे उसका लचीलापन कम हो जाता है और धीरे-धीरे त्वचा डेमेज होने लगती है और खुद रिकवर नहीं कर पाती. इससे झुर्रियां दिखाई पड़ने लगती है. आजकल कम उम्र में झुर्रियां दिखाई पड़ने की वजह व्यस्त जीवन शैली, कम नींद, तनाव और आहार सम्बन्धी लापरवाही है, जिसे समय रहते ठीक किया जा सकता है.

इसके अलावा जो लोग धूप में लम्बे समय तक काम या शूटिंग करते है, उनमे भी झुर्रियां जल्दी दिखती है, क्योंकि सूर्य की किरणों से त्वचा में मौजूद कोलेजन और इलास्टिक फाइबर अलग होने लगते है. जबकि ये दोनों मिलकर ही कोशिकाओं को बांधे रखते है, जिससे त्वचा कसी हुई नजर आती है, इस परत के टूटने से स्किन कमजोर हो जाती है और झुर्रियां पड़ने लगती है. त्वचा को तरोताजा रखने के 5 आसान टिप्स निम्न है,

पर्याप्त मात्रा में पानी का करें इनटेक

रोज सही मात्रा में पानी की इन्टेक से त्वचा हाइड्रेटेड रहती है, जो त्वचा पर सूखे की वजह से पतली धारियों को बनने से रोकती है. यह आसान, एफोर्डेबल और साधारण तरीका है, जिससे स्किन को तरोताजा होने से कोई रोक नहीं सकता.

विटामिन C और विटामिन A रिच फलों और सब्जियों का करें सेवन

फल और सब्जियां, जिसमे विटामिन C जैसे ऑरेंज, स्वीटलाइम, लेमन, अमरुद आदि कोलेजन को समन्वय करने में मदद करती है, जिससे स्किन की चमक और टेक्सचर में इम्प्रूव होता है. जबकि विटामिन A रिच फल और सब्जियां मसलन गाजर, पपीता, हरी सब्जियां आदि सभी रेटिनॉल के नैचुरल सोर्सेज है, जो स्किन टेक्सचर को ही नहीं बल्कि स्किन टोन को भी इम्प्रूव करती है.

सन एक्सपोज़र को करें लिमिट

अधिक समय तक धूप में रहने से बचना जरुरी है, क्योंकि बार-बार सूर्य की किरणों से कोलेजन के डेमेज होने पर स्किन की एजिंग प्रोसेस जल्दी शुरू हो जाती है और झुर्रियां दिखाई पड़ने लगती है. बाहर निकलते वक्त त्वचा की रक्षा के लिए स्कार्फ, कैप्स, और सनस्क्रीन अवश्य लगायें.

मैजिकल पल्प का करें प्रयोग

एलोवेरा पल्प को ओरली लेने या फेसपैक के रूप में प्रयोग करने पर स्किन हमेशा हाइड्रेटेड और स्मूथ रहती है, जिससे फ्रेश लुक बनी रहती है. ‘बनाना मास्क’ बनाने के लिए पके केले को मैश कर लगाने से भी त्वचा स्मूथ होती है, क्योंकि ये फेसपैक मोयस्चराइजर का काम करती है. ऑरेंज पल्प भी विटामिन C में रिच होता है, जो स्किन को ग्लो करने और रिजुविनेट करने में मदद करती है.

आयल और मसाज को न करे अनदेखा  

नारियल और आलमंड आयल ड्राई स्किन के लिए बहुत अच्छा माना जाता है. ये स्किन की क्रेक्स को भरकर देती है और त्वचा की फाइन लाइन्स और झुर्रियों को बनने से रोकती है. नियमित चेहरे की जेंटल मसाज से ब्लड सर्कुलेशन बढ़ता है, जिससे स्किन रिजुविनेट होती है. इस प्रकार आयल और मसाज से फायदे तो अनेक होते है, लेकिन एक्ने संभावित स्किन वालों के लिए आयल और मसाज को अवॉयड करना चाहिए.

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