जब कोरोना काल शुरु हुआ और चारों तरफ-तरफ सिर्फ कोरोना महामारी फैल रही थी तो उसको देखते हुए सरकार ने पूरे देश में लॉकडाउन लगा दिया और सारे ट्रांसर्पोट बंद हो गए लोगों का कहीं भी आना- जाना बंद हो गया और इतना ही नहीं कहीं बाहर खाना - पीना भी बंद हो गया लोग एक-दूसरे के घर तक नहीं जाते थे और ना ही कुछ खाते थें.यहां तक की शादियां होनी भी बंद गई धीरे- धीरे संपूर्ण लॉकडाउन लग गया. इस तरह से उस वक्त लोगों के लिए शादियां करना किसी चुनौती से कम नहीं था. जिनकी मजबूरी थी शादी करना ही है क्योंकि सारी तैयारियां हो चुंकी थीं तो उन लोगों ने बिना किसी को बुलाए घर –परिवार में ही शादी को छोटे रूप में निभा लिया.लेकिन कुछ महिनों बाद जब धीर-धीरे जब लॉकडाउन खुलने लगा तो सरकार ने यह आदेश दिया कि अब शादी – ब्याह में सिर्फ 50 लोग ही शामिल हो सकते हैं लेकिन अब धीरे –धारे वही 50 मेहमान वाली शादी ट्रेंड बनती नजर आ रही है जिसे अब माइक्रो वेडिंग का नाम दे दिया गया है... और अब तो ज्यादातर लोग इसे एक अवसर की तरह ले रहें हैं क्योंकि वो इससे सुरक्षित भी महसूस कर रहे हैं.

जानिए क्या है माइक्रो वेडिंग ?

नार्मली माइक्रो वेडिंग उसे कहेंगे जो छोटे पैमाने पर होता है.आज कल लोग अपने घरों की शादियों में ज्यादा लोगों को नहीं बुला रहे हैं सिर्फ उनके परिवार वाले और कुछ रिश्तेदार होतें हैं जिन्हें वो बुलाते हैं इतना ही नहीं खाने का इंतजाम भी लिमिटेड ही रहता है.सब कुछ बहुत थोड़े में ही सिमट जाता है और अब ये माइक्रो वेडिंग ट्रेंड बनता जा रहा है. लोग ज्यादा लोगों को बुलाते नहीं हैं शादी करने के बाद भले ही एक बड़ी सी पार्टी दे दें लेकिन वेडिंग माइक्रो ही रख रहे हैं.ये माइक्रो वेडिंग ट्रेंड एक वृहद रूप की शादी से बिल्कुल अलग और खास होता जा रहा है.

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