लौकडाउन के चलते मैं और मेरी गर्लफ्रैंड सिर्फ इंटरनैट से जुड़े हुए हैं. हम दिन में चैटिंग करते हैं और रात में वीडियो कौल पर बात करते हैं. हो यह रहा है कि उस से बातें करतेकरते मैं अब बोर होने लगा हूं. बातें चाहे कितनी ही प्यारभरी हों, सैक्सुअल हों या नौर्मल ही क्यों न हों लेकिन अब सबकुछ उबाऊ लगने लगा है.  पहले कालेज में मिलना होता था तो कुछ न कुछ होता था बात करने को और रोमांटिक बातें करना भी अच्छा लगता था. अब तो किसी चीज में मन नहीं लगता. रोमांस महसूस करने के लिए वीडियो कौल पर एकदूसरे का मन बहलाने की कोशिश करते हैं पर उस से भी मन भर गया. मैं टाइमपास के लिए पबजी खेलता हूं तो गर्लफ्रैंड मुंह फुला लेती है. क्या करूं, समझ नहीं आ रहा?

क्वारंटाइन में बोरियत महसूस होना लाजिमी है और रोमांस से ऊब जाना भी, लेकिन इस का मतलब यह तो नहीं कि आप हार मान कर बैठ जाएं. जरूरी नहीं कि आप एकदूसरे से बातें ही करते रहें या एकदूसरे को वीडियो कौल करें. रिलेशनशिप को थोड़ा स्पेस दीजिए. एकदूसरे को याद करने का थोड़ा मौका दीजिए. दिनभर ज्यादा बात न करने से रात में बात करने का इंतजार रहेगा, जिस में रोमांच भी है और मजा भी.

अच्छी मूवीज देखिए, शोज देखिए, दिनभर में कुछ न कुछ करते रहिए जिस से जब भी आप एकदूसरे से बात करें तो आप के पास बात करने का टौपिक हो. सैक्स के बारे में सोचना सही है लेकिन हर समय सोचना और फिर यह दुख मनाना कि मिल नहीं सकते, गलत है. इस से बेहतर तो आप इन चीजों के बारे में उतनी ही बात करें जितना सहज लगे, अति न करें. रही बात गर्लफ्रैंड के पबजी खेलने को ले कर शिकायत करने की, तो आप उस से बात करते समय पबजी का जिक्र ही मत कीजिए और उस को उस के हिस्से का समय दीजिए, वह गुस्सा नहीं करेगी.

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