एक सफल शादी का सपना किसका नहीं होता, समय बदल रहा है और इस बदलते हुए समय में शादी टूटना कोई बड़ी बात नहीं है. यह सच है कि डाइवोर्स दोनो ही तरफ से एक दुखभरा समय होता है. परंतु यह और भी दुखभरा तब होता है जब आप को पता नहीं होता है कि आप के रिश्ते में क्या गलत हो रहा है और आप का पार्टनर या आप तलाक दे देते हैं. हालांकि यह समय आप के लिए बहुत कठिन समय होता है. पर  यह दुख हमेशा के लिए नहीं रहता है. हो सकता है आप उस समय बिल्कुल टूट जायें और अकेला महसूस करें.

वैसे भी पहले के मुकाबले अब तलाक के ग्राफ ज्यादा बढ़ गये हैं. जहां तलाक तो आसानी से हो जाते हैं, लेकिन मुश्किलें खड़ी होती हैं,तलाक के बाद. तलाक के बाद भी अक्सर लोग अपने पति-या पत्नी या अपने निजी कारणों को लेकर परेशानियां व सवालों के घरों में रहते हैं जैसे- अब क्या करें? कैसे सामना करें इन सवालों का? स्वयं को कैसे सम्भालें?  और इस दुख से कैसे खुद को बाहर लायें? आदि.

उदाहरण-

वाराणसी की रहने वाली 38 साल की रेनू तलाक शुदा हैं, और वो अपने माता-पिता के साथ रहती हैं. उनका कहना है कि, मैं मेरे परिवार में खुलकर नहीं रह पा रही हूं, क्योंकि मेरे सगे सम्बंधी ही मुझे बेवजह की सलाह देते हैं या अजीब अजीब से सवाल करते हैं. जिससे मुझे सामाजिक समस्याओं का सामना करना पड़ता है. ये परिवार और रिश्तेदार ही मुझे तलाकशुदा महिला होने का बार-बार एहसास करवाते हैं, परेशान हो जाते हो समझ नहीं आता कि मैं, मेरी इस समस्या से कैसे निपटूंगी?

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