Ajay Devgn : हाल ही में अजय देवगन की फिल्म रेड 2 रिलीज हुई जिसका दर्शकों को बेसब्री से इंतजार था. क्योंकि इसके पहले बनी रेड पार्ट वन, जो काफी अच्छी फिल्म थी. दर्शकों ने इस फिल्म को बहुत सराहा था. लिहाजा दर्शकों को पूरी उम्मीद थी कि अजय देवगन अभिनित रेड 2 भी धमाकेदार फिल्म होगी. ललेकिन ऐसे में कहना गलत ना होगा कि अजय देवगन की फिल्म रेड 2 ने पूरी तरह निराश किया है. रेड 2 लगभग वैसी ही लग रही है जैसे बासी कढ़ी में उबाला.
पता नहीं क्यों लेकिन आज फिल्म मेकर्स फिल्म की मेकिंग पर कम और पब्लिसिटी पर ज्यादा ध्यान देते हैं, जिस वजह से फिल्म का जितना ज्यादा प्रचार होता है, रिलीज के बाद वही फिल्म उतनी ही टाय टाय फीस निकलती है. इस फिल्म में भी ऐसा ही कुछ है, फिल्म की कहानी रेड डालने से शुरू होती है और उसी पर अटकी रहती है, पहली रेड से अगर दूसरी रेड 2 की अगर तुलना करे तो रेड 2 कमतर नजर आती है क्योंकि रेड 2 में कोई नयापन नहीं है. यहां तक कि अजय देवगन खुद दृश्यम की सफलता के बाद से करीबन हर फिल्म में सीधे सादे अंकल टाइप लुक में नजर आए है ..
फिल्म की हीरोइन वाणी कपूर के पास करने लायक कुछ खास नहीं था. तमन्ना भाटिया का जब से स्त्री 2 में आइटम नंबर आज की रात… हिट हुआ है , तब से हिंदी फिल्मों के मेकर तमन्ना का फिल्म में एक आइटम नंबर को फिल्म की सफलता की चाबी मान रहे है ,जिसके चलते रेड 2 में भी तमन्ना भाटिया का आइटम नंबर नशा … जबरदस्ती ठूस दिया गया है, फिल्म के अगर डायरेक्शन की बात करें तो फिल्म का डायरेक्शन राजकुमार गुप्ता ने किया है जो इंटरवल तक ढीला और नाटकीय लगता है, इंटरवल के बाद डायरेक्शन में पकड़ नजर आती है.
फिल्म की कहानी कमजोर होने की वजह से फिल्म का डायरेक्शन भी ठीकठाक ही लगता है. अगर रेड 2 के आकर्षण की बात करें तो रितेश देशमुख जो विलेन के रोल में है उनका अभिनय दमदार दिखाई देता है. रेड 2 में एक और अच्छा कलाकार है जिसकी एक्टिंग में दम कम नजर आता है वह है सौरभ शुक्ला , लेकिन उनको ज्यादा फुटेज नहीं मिली है जिसमें वह अभिनय का जौहर दिखा सके. रेड 2 के पहले भाग में अजय देवगन के साथ इलियाना डी’क्रूज़ थी , इस बार रेड 2 में इलियाना के जगह वाणी कपूर नजर आई हैं. जिनकी पहले से ही स्टार वैल्यू नहीं है और फिल्म में भी उनका ज्यादा काम नहीं है.
फिल्म का संगीत मधुर है आइटम सॉन्ग नशा लोगों की जुबान पर चढ़ सकता है. ओवर एंड औल अजय देवगन की रेड 2 वो कमाल नहीं दिखा पाई है जो पहली रेड ने किया था . फिल्म में काफी सारी कमियां है जिस वजह से फिल्म दर्शकों के गले नहीं उतर रही, जिस दिन मेकर्स और एक्टर को यह बात समझ आ जाएगी कि आज के समय में फिल्म हीरो या आइटम नंबर के वजह से नहीं बल्कि अच्छे कंटेंट के बाद ही चलती है. उस दिन से बौलीवुड फिल्मों का भविष्य उज्ज्वल होना शुरू हो जाएगा . वरना अगर बड़े कलाकारों से सजी फिल्म की यही हालत रही तो वह दिन दूर नहीं जब दर्शक हिंदी फिल्मों से दूरी बनाने लगेंगे.