Holi 2024: होली में अपने घर को सजाएं ऐसे

दोस्तों बहुत सारी जगहें ऐसी होती है जैसे कि होटल है या कोई भी स्टोर या स्पा वगैरह जहां पर हम भले ही एक ही बार जाते हैं पर हमेशा के लिए हमारे माइंड में उसकी मेमोरी रजिस्टर हो जाती है. जैसे कि हम किसी होटल में गए तो हमें लगा की वाह क्या होटल था, क्या रूम था, क्या आर्गेनाईजेशन था.

इसका क्या कारण है? दोस्तों इसका कारण है वहां का वातावरण, वहां का औरा या ऑर्गेनाइजेशन या फिर स्टाइलिंग जिसकी वजह से वो जगह हमें हमेशा के लिए याद रह जाती है. तो हम अपने घर में ऐसा क्या करें कि हमारा घर भी इन्ही जगहों की तरह स्टाइलिश और मेन्टेन रहे.

दोस्तों हम अपने घर को हर त्यौहार के हिसाब से सजा सकते हैं. जरूरी नहीं है कि जब त्यौहार हो तभी हम घर सजाएं लेकिन हां कुछ स्पेशल करना है तो ऐसा करना कोई बड़ी बात नहीं है .

होली रंगों का त्योहार है और शायद प्यार और दोस्ती के बंधन को मजबूत करने का सबसे अच्छा समय है. यह आपके घर को सजाने का सबसे अच्छा समय है.

दोस्तों होली का त्यौहार बस आने ही वाला है  इसलिए आपने होली पार्टी के लिए सबसे अच्छा मेजबान बनने की तैयारी शुरू कर दी होगी, चाहे वह स्वादिष्ट भोजन हो या आकर्षक और रंगीन आउटडोर सजावट. आप कुछ अनूठा करके पार्टी को यादगार बनाने के इच्छुक होंगे. होली और दिवाली जैसे त्योहारों के लिए, अपने घर को सजाना एक बहुत ही दिलचस्प काम है. आपको केवल त्योहार को ध्यान में रखते हुए सजावट की वस्तुओं का चयन करना होगा. उदाहरण के लिए, दिवाली रोशनी का त्यौहार  है इसलिए हम अपने घर को सजाने के लिए मोमबत्तियां, दीये, रोशनी आदि खरीदते हैं .वैसे ही होली  रंगों का त्यौहार  है, इसलिए जब आप अपने घर को सजाने जा रहे हैं, तो अपने घर की सजावट के लिए रंगों के चयन पर विशेष ध्यान दें.

दोस्तों आइये जानते है की होली के इस रंगीन त्यौहार को और भी आकर्षक और रचनात्मक सजावट के साथ ज्यादा रंगीन और विशेष बनाने के लिए हम अपने घर को कैसे सजाएं-

अपने मास्टर बेडरूम की सजावट

एक थकान भरे दिन के बाद जिंदगी की भागदौड़ से राहत हमें अपने बेडरूम में ही मिलती है यह वह जगह है जहां हम सपनों में डूब जाते हैं और हर दिन एक नई शुरुआत करते है. अपने बेडरूम को एक नया बदलाव देने के बिना घर की सजावट अधूरी मानी जाती है .

आप अपने रूम के हिसाब से किसी प्रिंट फैमिली का एक बेडशीट का  सेट खरीद सकते हैं, आप चाहे तो आप कलरफुल बेडशीट भी यूज कर सकते हैं कलरफुल पिलो कवर के साथ . इससे आपके लिए डेकोरेशन काफी आसान हो जाएगा. आप जितने चाहे उतने पिलोज और cushion  यूज़ करके अपने लिए एक आरामदायक जगह बना सकते हैं .

अब बात करें आपके रूम के wall की तो आप अपनी वॉल के कलर के हिसाब से पिक्चर फ्रेम यूज कर सकते हैं. हर बार वॉल पेंट यूज़ करना जरूरी नहीं है आप चाहे तो सर्कुलर मिरर भी यूज करके एक नया लुक क्रिएट कर सकते हैं. मिरर से डेकोरेट करना ट्रेंड में भी है. इससे आपकी वॉल को सही हाईलाइट मिलेगी. अब इस पूरे लुक को कंप्लीट करने के लिए हम बेड साइड टेबल को छोटे प्लांट्स और बुक से डेकोरेट करेंगे. आप चाहे तो अपने बोरिंग कर्टन हटा करके कलरफुल कर्टन भी यूज कर सकते हैं. ये होली में आपके रूम को vibrant लुक देगा.

बाथरूम

अपने बाथरूम में रखे बोरिंग तौलिये को रंगीन तौलिये में  बदल दें. खुशबूदार साबुन की छोटी छोटी बॉल्स कई रंगों  में आती हैं उन्हें बाथरूम के काउंटरटॉप पर आकर्षक रूप से सजा दें . होली सजावट के साथ मैच करने के लिए बाथरूम की खिड़की में रंगीन ताजे फूलों की फूलदान भी रखें.

लिविंग रूम

अपने लिविंग रूम को एक vibrant  मेकओवर देने से आपको होली के त्योहार के लिए सही माहौल बनाने में मदद मिल सकती है. यदि आप कोई स्थायी परिवर्तन नहीं करना चाहते हैं, तो आप अपने घर को आकर्षक  लुक देने के लिए लिविंग एरिया में रंगीन curtain का इस्तेमाल कर सकते हैं और साथ ही साथ आप अपने लिविंग एरिया के लिए मिरर वर्क कुशन खरीद सकते हैं क्योंकि यह फेस्टिव लुक देगा .अपनी सेंटर टेबल ताजे फूलों के गुलदस्ते से सजाना न भूलें.

अपनी सेंटर टेबल को सजाने के लिए

आप फूलों की पंखुड़ियों के साथ कुछ नए और रंगीन क्रिस्टल बाउल भी use  कर सकते  हैं. आप अपने लिविंग रूम की दीवार को आधुनिक रंग के फुल हैंड पेंटिंग और आर्ट वर्क से भी सजा  सकते हैं.

एक चीज़ याद रहिये की फर्श  घर का मुख्य हिस्सा है. यह रंगों का त्यौहार है इसलिए आप अपने घर के लिए एक विशेष रंग की हस्तनिर्मित आधुनिक कालीन खरीद सकते हैं. ये कालीन  खास तौर पर होली की थीम पर तैयार किए जाते हैं .

और एक चीज़ त्योहारों में रंगोली का बहुत महत्व होता है . इसलिए अपने सामने के दरवाजे में रंगों से सुंदर रंगोली बनाकर अपने प्रवेश द्वार को सजाएं. आप अपने घर में उत्सव के आकर्षण को जोड़ने के लिए एक फूलों की रंगोली जोड़ सकते हैं.

किचन

अपने पूरे घर को डेकोरेट करते समय अपने किचन को मिस न करें. ये घर का सबसे प्रमुख हिस्सा होता है. आप अपने किचन के प्रवेश द्वार पर एक आकर्षक रंगोली बना सकते हैं . आप होली सजावट को पूरा करने के लिए रसोई की छत के केंद्र में एक कलरफुल लालटेन  भी लटका सकते हैं.और आप चाहे तो फूलों की छोटी छोटी झालरें भी किचन के प्रवेशद्वार पर लटका सकते है.

सुनिश्चित करें कि आप घर के अंदर होली न खेलें. घर के अंदर होली खेलने से आपके सामान, जैसे फर्नीचर, सोफा और इलेक्ट्रॉनिक उत्पादों को नुकसान हो सकता है.तो अपने मेहमान को आमंत्रित करने के लिए अपने घर को सजाएँ जरूर पर हो सके तो अपनी छत या लॉन में होली खेलें.

जाहिर है कि कोई घर के अंदर होली नहीं खेलेगा, इसलिए यहां बाहरी व्यवस्था बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है-

लॉन और छत

होली एक बाहरी त्यौहार है जिसे आमतौर पर लॉन, आँगन, बालकनियों और छतों में मनाया जाता है. होली खेलने के लिए इन स्थानों को तैयार करें. फूल इन स्थानों को सजाने का सबसे अच्छा तरीका है. अपनी रेलिंग को रंगीन  फूलों की माला से सजाएं. त्योहार के आनंद को बढाने  के लिए एक फूलों की रंगोली के साथ अपने छत या लॉन को सजाएं. हैं.

पानी से भरे रंगीन गुब्बारे होली खेलने के लिए लगभग सभी को पसंद होते हैं. तो क्यों न इन्हें अपने पार्टी स्पेस को सजाने में इस्तेमाल किया जाए. गुब्बारों के गुलदस्ते बनाकर  उन्हें विभिन्न स्थानों पर अलग-अलग तरीकों से बांध दे चाहे वो छत का प्रवेश द्वार हो या लॉन का .

Festive Special: पार्टी के लिए करें इनोवेटिव डैकोरेशन

आप भी अपनी शादी की पार्टी की डैकोरेशन को यादगार बनाना चाहते हैं, लेकिन आप का बजट इतना नहीं है और न ही आप के यहां पर्याप्त जगह है तो निराश न हों. कुछ इनोवेटिव आइडियाज और ऐक्सपर्ट्स की मदद से आप पार्टी डैकोरेशन को शानदार बना सकती हैं.

एक ही शहर में एक ही कंपनी में काम करने वाले अनिकेत और अंकिता एकदूसरे को इस कदर भाए कि दोनों ने वैवाहिक बंधन में बंधने का फैसला कर लिया. चूंकि दोनों की नौकरी भी नईनई थी और वे अपने पेरैंट्स पर भी आर्थिक बोझ नहीं डालना चाहते थे, इसलिए दोनों ने शादी के आयोजन पर बहुत अधिक खर्च करने के बजाय पहले कोर्ट मैरिज की और बाद में घर पर ही एक पार्टी के आयोजन का निर्णय लिया.

इस पार्टी में वे अपने पेरैंट्स, नजदीकी रिश्तेदारों व खास दोस्तों को शामिल करना चाहते थे लेकिन अनिकेत और अंकिता के सामने सब से बड़ी समस्या यह थी कि छोटी जगह में घर पर ही कम बजट में पार्टी की डैकोरेशन बेहतर ढंग से कैसे करें.

अनिकेत और अंकिता जैसी समस्या बड़े शहरों में रहने वाले अधिकांश युवाओं के सामने आती है, लेकिन कम बजट व छोटी जगह में पार्टी की डैकोरेशन क्या सचमुच इतनी मुश्किल है? इस का जवाब है, ’’ नहीं, यह बिलकुल भी मुश्किल नहीं है. बस, जरूरत है, तो थोड़ी सी प्लानिंग और इनोवेटिव आइडियाज की,’’ यह कहना है, वैडिंग प्लानर नीता सोनी का. नीता सोनी ने  बताया कि घर में पार्टी की डैकोरेशन से पहले कुछ खास बातों का ध्यान रखना चाहिए.

– पार्टी छत पर करना चाहते हैं या घर के अंदर

– पार्टी में आने वाले मेहमानों की संख्या कितनी है

– पार्टी दिन में करना चाहते हैं या रात में

– पार्टी डैकोरेशन का बजट कितना है

– बजट तय करने के बाद यह निर्धारित कर लें कि किन चीजों पर कम और किन पर अधिक खर्च करना है. मसलन, फूलों पर अधिक और लाइट्स पर कम, अपहोलस्ट्री पर अधिक और डैकोरेटिव आइटम्स पर कम खर्च करेंगे.

– पार्टी की तैयारी के लिए आप दोस्तों व रिश्तेदारों की मदद लेंगे या प्रोफैशनल मदद लेंगे. यह आप के बजट पर निर्भर करेगा. अगर बजट कम है तो दोस्तों, रिश्तेदारों की मदद लें और बजट थोड़ा अधिक है तो आसपास के लोकल डैकोरेटर की भी मदद ले सकते हैं.

डैकोरेशन के शानदार आइडियाज

– कलरफुल दुपट्टों, नैट व सिल्क की साडि़यों से घर की दीवारों और खिड़कियों को इंद्रधनुषी लुक दें.

– परंपरागत तरीके से घर की डैकोरेशन करना चाहते हैं तो गेंदे, गुलाब व रजनीगंधा के फूलों से घर को सजाएं. अगर आधुनिक तरीके से सजावट करना चाहते हैं तो एक्जोटिक और्किड, लिली व कारनेशन के फूलों का चयन करें.

– फ्रैश फ्लावर न मिलें तो ड्राइफ्लावर औैर ट्विस्टेड स्ट्क्सि को भी लें. कांच या मिट्टी के वास में सजा कर डैकोरेशन को डिफरैंट लुक दें.

– फूलों के बुके को रिबन व नैट फैब्रिक से बांध कर साइड टेबल और डाइनिंग टेबल पर रख कर भी आप घर की शोभा बढ़ा सकते हैं.

– फूलों की लडि़यां बना कर प्रवेश द्वार पर बंदनवार की तरह लगा सकते हैं.

– कमरे में अगर जगह कम हो और आप कुरसियों के खर्च को बचाना चाहते हैं, तो कमरे में लोअर सीटिंग अरेंजमैंट करें. लोअर सीटिंग को और आकर्षक बनाने के लिए टाई एेंड डाई, बीड्स, जरदोजी वर्क, सिल्क, वैल्वेट या टिश्यू वाले कुशन व मसनद का प्रयोग करें.

– पार्टी के स्थान पर इनडोर बोनसाई प्लांट्स रखें. यह आप की डैकोरेशन को इकोफ्रैंडली लुक देगा.

– पार्टी सजावट में सैंटेड कैंडल्स व फ्लोटिंग कैंडल्स को भी स्थान दें. यह पार्टी के माहौल को कूल व फ्रैश इफैक्ट देगा.

– मिट्टी के बड़े से वास पर ब्रौंज, सिल्वर, गोल्डन व कौपर कलर कर के आर्टिफिशियल फ्लावर स्ट्क्सि लगाएं. यह आप की डैकोरेशन को कलात्मक रूप देगा.

– पुरानी वाइन व शैंपेन की बोतल को सितारों व ग्लिटर से सजा कर कैंडल्स को कलर्ड पैबल्स के साथ रखें. यह घर की सजावट को रोमांटिक लुक देगा.

– हार्ट शेप बैलून को भी अपनी डैकोरेशन में शामिल करें. यह आप दोनों की नजदीकियों को भी बढ़ाएगा.

– सस्ते पर आकर्षक पेपर शेंडलियर को अपनी डैकोरेशन का हिस्सा बनाएं. कलरफुल पेपर शेंडलियर से बिखरती रोशनी न केवल पार्टी में रंग बिखेरेगी बल्कि आप की जेब पर भी भारी नहीं पड़ेगी.

– फ्लोर को डैकोरेटिव ऐंगल देने के लिए आप कारपेट व कलरफुल रग्स का भी बखूबी प्रयोग कर सकते हैं.

रोशनी के फेस्टिवल में घोलें सपनों के रंग

आप जब भी किसी दोस्त या रिश्तेदार के घर में प्रवेश करते हैं, तो सब से पहले आप की नजर उस कमरे की दीवारों पर पड़ती है. और अगर दीवारों का रंग अच्छा लगता है तो उसे ऐप्रिशिएट भी करते हैं.

दरअसल, रंग हमारी आंखों को सब से पहले प्रभावित करते हैं, इसलिए घर में रंगरोगन करवाते वक्त सही रंगों का चुनाव बहुत जरूरी होता है. रंग न सिर्फ व्यक्तित्व को उजागर करते हैं, घर में एक सुकून भरा वातावरण भी बनाते हैं. दिन भर की भागदौड़ के बाद व्यक्ति जब घर लौटता है, तो उसे पूरी तरह से रिलैक्स होना जरूरी होता है ताकि वह अगले दिन के लिए अपनेआप को तैयार कर सके. ऐसे में अगर घर की दीवारों का रंग अच्छा और सुकून देने वाला होता है तो उस से बहुत चैन और आराम मिलता है.

सफेद रंग का क्रेज

मुंबई की नाबार प्रोजैक्ट्स की इंटीरियर डिजाइनर मंजूषा नाबार कहती हैं कि मैं पिछले 24 सालों से इस क्षेत्र में हूं. पहले 90 के दशक में अधिकतर लोग औफ व्हाइट या सफेद रंग ही पसंद करते थे, लेकिन धीरेधीरे लोगों का टेस्ट बदला. उन का ध्यान सफेद से हट कर ब्राइट कलर्स पर ध्यान गया.

रंगों के ट्रैंड में बदलाव पेंट की कंपनियों की वजह से आता है. बड़ीबड़ी कंपनियां हर बार नएनए रंग और उन्हें प्रयोग करने के तरीके बाजार में उतारती हैं, जिन्हें देख कर उपभोक्ता उत्साहित हो कर वैसे ही रंग अपने कमरों में करवाने लगते हैं. लेकिन सफेद रंग का के्रज हमेशा रहा है और रहेगा भी. समयसमय पर कुछ फेरबदल अवश्य होते हैं पर सीलिंग पर सफेद रंग हमेशा सही रहता है.

सफेद रंग से घर बड़ा और खुला दिखता है क्योंकि इस रंग से रोशनी रिफ्लैक्ट होती है. गहरे रंग से तो रोशनी के साथसाथ जगह भी कम दिखती है.

सभी रंगों का महत्त्व

आमतौर पर घरों में रंग उस के क्षेत्र के अनुसार कराए जाते हैं. अगर मुंबई और दिल्ली की हम तुलना करें तो मुंबई के मौसम में नमी अधिक होती है, इसलिए वहां थोड़ा डार्क कलर चलता है, जबकि दिल्ली का मौसम ऐसा नहीं रहता, इसलिए वहां हलके रंग अधिक पसंद किए जाते हैं. लेकिन सभी रंगों का अपना महत्त्व तो होता ही है.

आप अपने घर में रंग करवाते वक्त कुछ बातों पर अवश्य ध्यान दें:

– गहरे रंग डिप्रैशन लाते हैं, इसलिए हमेशा लाइट औरेंज, ग्रीन, सफेद आदि रंगों का प्रयोग करें.

– नई तकनीक के अंतर्गत रिफाइंडमैंट टैक्सचर, वालपेपर, फैब्रिक पेंट, ग्लौसी पेंट और मैट फिनिश आदि अधिक लगाना अच्छा होता है.

– बच्चों के कमरे में प्राइमरी रैड, ग्रीन, यलो और ब्लू कलर अच्छा लगता है, तो बुजुर्गों के कमरे के लिए लाइट पिंक, लाइट ब्लू व लाइट औरेंज कलर अच्छे होते हैं, क्योंकि ये रंग रिलैक्सेशन का एहसास कराते हैं. यंगस्टर्स और नवविवाहितों के लिए वाइब्रैंट कलर अधिक अच्छे रहते हैं. इन में रैड, ग्रीन व औरैंज कलर काफी लोकप्रिय हैं, क्योंकि वे ऐक्टिव होने का एहसास कराते हैं.

रंगों का चयन

रंगों का चयन तो व्यक्ति के व्यक्तित्व, प्रोफैशन और स्थिति वगैरह को ध्यान में रख कर करना चाहिए, क्योंकि रंगों का व्यक्ति के जीवन पर बहुत प्रभाव पड़ता है.

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कौरपोरेट क्षेत्र के अधिकतर लोग लाइट कलर अधिक पसंद करते हैं तो अध्यापक वर्ग अधिकतर लोग यलो व ग्रीन कलर पसंद करते हैं. व्यवसायी अपने स्टेटस के हिसाब से रंग चुनते हैं, तो अधिकतर फिल्मी लोग सफेद रंग ही पसंद करते हैं. बुद्धिजीवी लोग अधिकतर ‘अर्थ कलर’ करवाते हैं.

रंगों की पसंदनापसंद के अलावा जरूरी बात यह है कि घर को घर के जैसा ही रहने देना चाहिए. उसे आर्टिफिशियल नहीं बनाना चाहिए. घर को हमेशा वैलकमिंग होना चाहिए.

हर रंग कुछ कहता है

रंगों ने हमारी सोच, भावनाओं और बौद्धिकता को विकसित करने में अहम भूमिका निभाई है. अत्यधिक आकर्षक, आसानी से नजर आने वाले और विविधता भरे रंगों में कुछ खास प्रकार की ऊर्जा उत्सर्जित करने की ताकत होती है. ये रंग हमारे दिलोदिमाग को प्रभावित कर सकते हैं. यदि इन्हें सही अनुपात में शामिल किया जाए, तो कुछ खास तरह के रंग और उन के मिश्रित रूप काफी जीवंतता ला सकते हैं.

सजावट की अलगअलग चीजों जैसे पेंटिंग, लैंप, फूलदान, वालपेपर, फूल, पौधे, लाइट, कलाकृतियां, मूर्तियां, फर्नीचर आदि को शामिल कर के विभिन्न रंगों को शामिल किया जा सकता है. इस के साथ ही घर की खूबसूरती को बढ़ाने वाले सजावटी सामान, मोमबत्तियों से ले कर सौफ्ट फर्निशिंग जैसे परदे, ड्रैप, साजोसामान, कुशन, ट्यूब पिलो, बैड और बाथरूम लिनेन, डाइनिंग टेबल सैट, मैट और रनर से भी रंगों को जोड़ा जा सकता है. साथ ही किचन वेयर जैसे सर्व वेयर, क्रौकरी, बेक वेयर, मग, ट्रे आदि भी रंगों को शामिल करने का अच्छा तरीका हो सकते हैं. पूरी दुनिया कला के बेहतरीन नमूनों से भरी है, जिन्हें घर में सजा कर उसे बहुआयामी, सुंदर और आकर्षक बनाया जा सकता है.

ट्रैंडी शेड्स, पैटर्न और प्रिंट में उपलब्ध ये इंटीरियर फैब्रिक वेयर घर की सजावट में बहुत बड़ा बदलाव ला सकते हैं और वह भी किफायती दाम में और बिना ज्यादा देखभाल के.

कला के रंग थोड़े पेचीदा होते हैं, इसलिए सही चीज का और सही मात्रा में चुनाव करें. ऐक्सपर्ट की राय भी ली जा सकती है. रंग को समझना कि उस के लिए क्या सही और क्या गलत है, उस की ऊर्जा और उस का प्रभाव क्या है, ये सारी चीजें एक नया बालगेम हैं. ये रंग आप के व्यक्तित्व को समझने में मदद करेंगे.

लाल

यह गतिशीलता, उत्साह और दृढ़संकल्प का रंग है. यह रंग बहुत ही तेज है और आधुनिक संदर्भों में इस का अर्थ शक्तिशाली और प्रभावी हो गया है. यह रंग तानाशाही, तुरंत क्रोधित हो जाने वाले और निडर होने का प्रतीक है. लाल रंग जितना सुंदर होता है इसे पसंद करने वाले भी उतने ही उत्साही, आत्मविश्वासी और मुखर होते हैं.

नीला

यह रंग विश्वास, ईमानदारी, निष्ठा, सुव्यवस्था, शांति और धैर्य का प्रतीक है. जिन लोगों को नीला रंग पसंद आता है, वे दयालु, आशावादी, अनुमानित, अकेले और माफ न करने वाले होते हैं.

हरा

जिन लोगों को हरा रंग पसंद आता है उन में दिल और दिमाग का सही संतुलन होता है. वे प्रकृति प्रेमी, संवेदनशील, अनुकरणीय, व्यवहारकुशल, परिवार के लिए समर्पित होते हैं.

पीला

पीला भी सकारात्मकता और नकारात्मकता का मिश्रित रंग होता है. यह रंग आशावादी, उत्साह, बुद्धिमत्ता और तार्किकता को दर्शाता है. साथ ही यह व्यक्ति को विश्लेषी, डरपोक और अहंकारी बनाता है.

सफेद

यह पूर्णता का रंग है, जो प्रेरणा और गहराई प्रदान करता है. स्वतंत्रता और पवित्रता का प्रतीक माना जाने वाला यह रंग एकता, सद्भाव, समानता और पूर्णता प्रदान करता है.

बैगनी

जो लोग बैगनी रंग पसंद करते हैं वे सौम्य, उत्साही और करिश्माई व्यक्तित्व वाले होते हैं. वे दूसरों पर निर्भर रहने वाले होते हैं, इसलिए रोजमर्रा की जिम्मेदारियों को लेने से बचते हैं. ये लोगों को आसानी से पहचान लेते हैं. इन्हें सत्ता पसंद आती है.

धूसर

यह सब से अधिक ग्लैमरस रंग है, जो निराशाजनक होने के बावजूद सुंदर है, बोरिंग हो कर भी परिपक्व है, उदासीन होने पर भी क्लासिक है. यह शेड स्थिरता एवं शालीन तरंगों के साथ गरिमामयी महिमा का वर्णन करता है. यह अनिश्चितता और अलगाव को भी दर्शाता है.

भूरा

इस रंग को पसंद करने वाले गंभीर, जमीन से जुड़े होने के बावजूद भव्यता की झलक देते हैं. ये लोग सहज, सरल, निर्भर होने के बावजूद कई बार कंजूस और भौतिकवादी होते हैं.

काला

दृढ़, सीमित, सुंदर, आकर्षक और ठंडक देने वाला काला रंग काफी गहरा होता है, जिसे कई लोग अशुभ करार दे सकते हैं. यह रंग रहस्य, नकारात्मकता, निराशा और रूढिवादिता को दर्शाता है.

नारंगी

अत्यंत चटकीला रंग नारंगी मुखर और रोमांच चाहने वालों का रंग है. आशावादी, खुशमिजाज, सहृदयी और स्वीकार्य होने के साथसाथ यह रंग सतही, असामाजिक और उन लोगों का प्रतीक है, जो अत्यधिक अहंकारी होते हैं.

अच्छा इंटीरियर मुनाफे का सौदा

मिठाई की दुकान से ले कर परचून की दुकान तक का इंटीरियर अब पहले से काफी बेहतर होने लगा है. जिन दुकानों में पहले इंटीरियर पर बिलकुल ध्यान नहीं दिया जाता था वहां भी अब मौडर्न स्टाइल का इंटीरियर होने लगा है. कपड़ों की शौप्स पहले से बदल गई हैं. फर्श हो या छत अब हर जगह का इंटीरियर अलग दिखने लगा है. सैलून के नाम पर पहले केवल महिलाओं के ब्यूटीपार्लर ही सजेधजे नजर आते थे पर अब पुरुषों के सैलूनों में भी इंटीरियर डिजाइन होने लगा है. सोशल मीडिया के जमाने में लोग जहां जाते है वहां के फोटो अपडेट करने की कोशिश करते हैं. अच्छा इंटीरियर मुफ्त में प्रचार का भी काम करता है.

इस बदलाव के क्या कारण हैं? यह जानने के लिए हम ने लखनऊ की रहने वाली मशहूर इंटीरियर डिजाइनर और और्किटैक्ट अनीता श्रीवास्तव से बात की:

शौप्स का मैनेजमैंट अच्छा हो जाता है

अनीता श्रीवास्तव कहती हैं, ‘‘सुंदर और सुव्यवस्थित माहौल हर किसी को पसंद आता है. ऐसा माहौल मन पर सुंदर छाप छोड़ता है. पहले शौप्स में सामान इधरउधर फैला होता था, जिस की वजह से गंदगी दिखती थी, सफाई करना मुश्किल हो जाता था. चूहे और कीडे़मकोडे़ सामान को नुकसान पहुंचाते थे. लाइटिंग की सही व्यवस्था नहीं होती थी. बिजली के उल?ो तारों से दुकानों में दुर्घटना हो जाती थी.

शौर्ट सर्किट से आग लग जाती थी. काम करने वालों को सही तरह से बैठने या खडे़ होने की जगह नहीं मिलती थी. हवा और रोशनी नहीं मिलती थी. अब इंटीरियर डिजाइनर शौप्स की जरूरत और वहां आने वाले कस्टमर की सुविधा को देखते हुए शौप्स को अच्छे से डिजाइन करते हैं. इस से काम करने वाले को सुविधा और कस्टमर को देखने में अच्छा लगता है.’’

बिजली का डिजाइनर सामान

इंटीरियर डिजाइनिंग में पहले बिजली का प्रयोग जरूरत के लिए होता था. आज के दौर में बिजली का ऐसा सामान आ गया है जो जरूरत के साथसाथ सुंदर भी लगता है. जहां जिस तरह की हवा और रोशनी की जरूरत होती है वहां उस का उपयोग किया जाने लगा है. बिजली के ऐसे उपकरण आ गए हैं जो कम वोल्टेज पर चलते हैं. इस से बिजली की बचत होने लगी है. हवा के लिए पंखे के साथसाथ एसी का प्रयोग होने लगा है. पीने का साफ पानी भी बिजली के प्रयोग से मिलता है.

इस का उपाय भी सही जगह होने लगा है. कम और ज्यादा रोशनी का प्रयोग जरूरत के हिसाब से हो इंटीरियर डिजाइन करते समय इस बात का खयाल रखा जाता है. बिजली चली जाए तो इनवर्टर, सोलर ऐनर्जी या जनरेटर का प्रयोग कैसे कमज्यादा हो इस का प्रबंध भी पहले से किया जाने लगा है.

अर्श से फर्श तक सब बदल गया

अनीता श्रीवास्तव कहती हैं, ‘‘आज इंटीरियर के लिए बहुत अच्छाअच्छा मैटीरियल मिलने लगा है, जो सस्ता भी है और अच्छी तरह तैयार हो जाता है, साथ ही हलका भी होता है. भले ही यह लकड़ी जैसा मजबूत और टिकाऊ न हो पर आज इंजीनियरवुड और प्लाई का उपयोग इंटीरियर में होने लगा है. सस्ता होने के कारण इसे जल्दी बदला जा सकता है.

‘‘कैमिकल का प्रयोग होने से दीमक नहीं लगती है. इंटीरियर में पेपर कार्डबोर्ड का प्रयोग होने लगा है. महंगी टाइल्स की जगह आकर्षक फ्लोरिंग मिलने लगी है. यह मैचिंग और मनचाहे रंग व डिजाइन की होने लगी है. फर्श से ले कर छत तक को नए रंगरूप में बदला जा सकता है.’’

बजट इंटीरियर

इंटीरियर डिजाइनर पहले डिजाइन तैयार कर लेता है उस के बाद वह बजट के अनुसार मैटीरियल चुनता है. डिजाइन का अब थ्रीडी फौर्मेट बन जाता है, जिस से पूरा इंटीरियर कैसा लगेगा यह पहले ही पता चल जाता है. जो अच्छा नहीं लगता उस को बदला जा सकता है. इंटीरियर में कुछ ऐसा शामिल किया जाता है जो पूरे इंटीरियर को हाईलाइट करता है. जैसे म्यूरल आर्ट का प्रयोग बढ़ गया है. ग्रीन माहौल दिखाने का प्रयास रहता है. स्पेस रहता है तो माहौल बेहतर होता है. लोग कंफर्टेबल फील करते हैं.

कार्यक्षमता को बढ़ाता है

इंटीरियर की उपयोगिता इसलिए बढ़ रही क्योंकि यह देखने वाले का आकर्षित करती है. कस्टमर यहां आने में कंफर्टेबल फील करता है. यहां काम करने वालों को जब साफ हवा, पानी, खुशनुमा माहौल मिलता है तो उन की कार्यक्षमता बढ़ती है.

9 Tips: कम खर्च में इस तरह सजाएं घर

इंटीरियर का ट्रैंड हर साल बदलता रहता है. ऐसे में घर को सजाना जेब पर काफी भारी पड़ता है, क्योंकि सजावटी सामान का दाम हर साल बढ़ता है.

यहां पेश हैं, कुछ सुझाव जो आप के घर को देंगे ब्यूटीफुल लुक और वह भी आप का बजट बिगाड़े बगैर.

बजट में ऐसे सजाएं घर

1. डाइनिंग टेबल को आप आसानी से नया लुक दे सकती हैं. आजकल बाजार में कौटन, सिल्क व प्लास्टिक से बने डिजाइनर टेबलक्लौथ काफी कम दाम पर मिल जाते हैं. इन्हें खरीद कर समयसमय पर डाइनिंगटेबल पर बिछाती रहें. इसे और अच्छा लुक देने के लिए टेबल पर थोड़ीथोड़ी दूरी पर 2 छोटेछोटे फ्लावर पौट्स रखें.

2. इस के अलावा डाइनिंगटेबल के सिटिंग अरेंजमैंट के हिसाब से डाइनिंग मैट भी सजाएं. टेबल के सैंटर में नैपकिन होल्डर भी रखें, जिस में समयसमय पर अलगअलग रंग के नैपकिंस लगाएं.

3. घर को नैचुरल लुक देने के लिए आर्टिफिशियल फ्लौवर्स और कैंडल का प्रयोग बहुत किफायती रहता है.

4.  घर के कोनों को ग्रीन और रिफ्रैशिंग लुक देने के लिए इंडोर प्लांट्स का भी प्रयोग कर सकती हैं.

रूम डैकोरेशन

5. कमरों में फ्लौवर वास रखते समय यह ध्यान रखें कि हर कमरे में 1 से ज्यादा फ्लौवर वास न हो. यदि 1 से ज्यादा फ्लौवर वास कमरे में रखना चाहती हैं तो अलगअलग साइज के फ्लौवर वास खरीदें.

6. घर के अन्य कमरों की दीवारों को नया लुक देने के लिए कोलाज फोटोफ्रेम अच्छा औप्शन है. यह दीवारों को नया लुक देने के साथसाथ इस में लगी तसवीरों के जरीए यह आप की स्वीट मैमोरीज को भी हमेशा तरोताजा रखता है.

7. अगर ड्राइंगरूम बड़ा हो तो चारों कोनों में या 2 कोनों में हैंगिंग लैंप लगवाएं. ड्राइंगरूम में ट्यूबलाइट से परहेज करना बेहतर है.

8. आजकल के घरों को देखते हुए मल्टीपर्पज फर्नीचर बेहतर विकल्प है. इस की सब से बड़ी खासीयत यह है कि इसे जल्दीजल्दी बदलना नहीं पड़ता और फिर यह ज्यादा जगह भी नहीं घेरता.

9. घर में मार्बल फ्लोरिंग कराना यदि आप के बजट से बाहर है तो टाइल्स फ्लोरिंग का विकल्प चुनें. टाइल्स फ्लोरिंग कराने के कई फायदे हैं जैसे- इन्हें साफ करने के लिए ज्यादा मेहनत की जरूरत नहीं पड़ती. यदि कोई टाइल टूट जाए तो उसे बदलवाना भी आसान है और सस्ता भी पड़ता है.

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New Year 2022: पार्टी की तैयारी में टेबल लेनिन को न करें नजरअंदाज

सच में पार्टी का आयोजन करना एक बड़ी जिम्मेदारी है. यह एक कलात्मक कार्य जैसा ही है. किसी भी पार्टी को सफल बनाने के लिए हर चीज का व्यवस्थित होना आवश्यक है. आप के मेहमान आप की पार्टी में मौजूद हर चीज पर ध्यान देते हैं. इसलिए यह जरूरी है कि आप की पार्टी का हर हिस्सा आकर्षक दिखे.

पार्टी में खाना खाने के दौरान आप के मेहमान उस टेबल पर जरूर गौर करेंगे जिस पर खाना परोसा गया है. इसलिए टेबल पर बिछे लिनेन पर भी विशेष ध्यान दें. अगर टेबल लिनेन आकर्षक होंगे तो आप बाकी हिस्सों के साथसाथ इस हिस्से को भी आकर्षण का केंद्र बना सकती हैं.

बच्चे की बर्थडे पार्टी

अगर आप अपने बच्चे की बर्थडे पार्टी का आयोजन करने जा रही हैं, तो गहरे रंगों जैसे लाल, नीले, पीले, गुलाबी, हरे टेबल लिनेन का प्रयोग करें. साथ ही इस बात का भी ध्यान रखें कि लिनेन पर आकर्षक डिजाइन अंकित हों. ऐसे रंगों और डिजाइनों को देख कर बच्चे बहुत आकर्षित होते हैं. इतने सुंदर रंगों को देख कर वे खुश हो जाएंगे. ऐसा माहौल आप की पार्टी को खुशगवार बना कर उस में जान डाल देगा.

किट्टी पार्टी

अगर आप किट्टी पार्टी का आयोजन कर रही हैं, तो अपनी कढ़ाई बुनाई के हुनर को सब को दिखाने का यह एक बेहतर अवसर है. यह वह मौका है जब आप उन टेबल लिनेन का इस्तेमाल कर सकती हैं, जिन्हें कभी आप ने सलाइयों, क्रोशिए की मदद से बड़ी लगन से बनाया था. लेकिन आजकल के रैडीमेड चीजों के प्रयोग के जमाने में वे अलमारी में ही दबे रह गए. इन का प्रयोग करने से आप को कई फायदे हो सकते हैं. पहला- आप अपने हुनर से अपने घर को सजा पाएंगी, दूसरा- आप को अपनी सहेलियों से प्रशंसा मिलेगी, जिस से आप का आत्मविश्वास बढ़ेगा और तीसरा- इन्हें खरीदने के लिए बाजार जा कर आप को पैसे और समय दोनों ही खर्च नहीं करने पड़ेंगे.

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फौर्मल पार्टी

अगर आप कामकाजी महिला हैं या फिर आप के पति को औफिस में तरक्की मिली है या ऐसा कोई अन्य कारण जिस में पार्टी का आयोजन औफिस के लोगों के बीच करना हो तो पार्टी का माहौल थोड़ा फौर्मल हो जाता है. इस प्रकार की पार्टी के लिए आप सफेद, क्रीम, भूरे, ग्रे जैसे सिंपल फौर्मल रंगों के टेबल लिनेन का चयन करें. ऐसे प्रिंट्स का चयन करें जिन पर छोटे या बड़े चैक्स बने हों या फिर एक ही रंग का प्रयोग किया गया हो.

युवाओं की पार्टी

अगर पार्टी का आयोजन युवाओं के लिए है तो सादे रंगों के अलावा आप हर तरह के रंग के टेबल लिनेन का चुनाव कर सकती हैं. युवा हर रंग को पसंद करते हैं. वैसे उन्हें लुभाने के लिए आप लेटैस्ट डिजाइनों और प्रिंट्स का चयन करें. कोशिश करें कि आप जो भी पसंद कर रही हैं वह फैशन में हो क्योंकि नई पीढ़ी को फैशन के साथ चलना सब से ज्यादा पसंद है.

फैमिली फंक्शन

अगर यह एक फैमिली फंक्शन है, तो ऐसी पार्टी के लिए चटक रंगों और पारंपरिक डिजाइनों, जो किसी जगह या परंपरा विशेष को दर्शाते हों, के टेबल लिनेन का प्रयोग करें. इन में किसी रेगिस्तान का, ऊंटों का या फिर किसी अन्य विशेष चीज का चित्र अंकित हो सकता है. ऐसे प्रिंट्स बहुत आकर्षक लगते हैं. ये आप की पार्टी को विशेष पहचान देंगे.

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सजावट भी हो सकती है ऑर्गेनिक

त्योहारों का सीजन ढेरों खुशियां ले कर आता है. अकसर हम त्योहारों पर घर के लिए नई चीजें खरीदने में इतने व्यस्त हो जाते हैं कि इस बात पर ध्यान ही नहीं देते कि कहीं ये हमारी सहेत के लिए नुकसानदायक तो नहीं हैं. इसीलिए हम आप के घर को और्गैनिक बनाने के 10 तरीके बता रहे हैं.

लकड़ी की फिनिश मन और दिमाग को बदलने की क्षमता रखती है: लकड़ी एकमात्र ऐसी सामग्री है जिसे फिनिशिंग दे कर घर की चमक कई गुना बढ़ाई जा सकती है. यह न केवल घर की भीतरी खूबसूरती बढ़ाती है, बल्कि घर को प्राकृतिक एहसास भी देती है. फर्श से ले कर छत के बीम तक लकड़ी से सजाए जा सकते हैं. पुरानी इमारतों को लकड़ी से फिनिश दे कर कई सालों के लिए स्थाई बनाया जा सकता है.

1. पेड़ पौधे

घर में लगे पौधे हमें यह एहसास दिलाते हैं कि हरित एवं स्वच्छ वातावरण की शुरुआत घर से ही होती है. ये न केवल आकर्षक दिखते हैं, बल्कि आसपास की हवा को भी शुद्घ कर के हमें रिलैक्स करते हैं. पौधे तनाव और चिंता से राहत दिलाने और अच्छी नींद लाने में मदद करते हैं. घर में लगाने के लिए पौधों के सर्वश्रेष्ठ विकल्प हैं- ऐलोवेरा, लैवेंडर, जैसमिन व स्नेक प्लांट.

2. विंडो ब्लाइंड्स

जब आप सोना या आराम करना चाहते हैं तो आप को कमरे में अंधेरे की जरूरत होती है. इस के लिए बांस या जूट से बने प्राकृतिक ब्लाइंड्स या शेड्स चुनें. आप के परदे और्गैनिक कौटन, हैंप या लिनेन के हों. आकर्षक रंग और डिजाइन चुन कर आप अपने बैडरूम को नया लुक दे सकते हैं.

3. फर्नीचर

फर्नीचर का सही चुनाव आप के कमरे के लिए बहुत अधिक माने रखता है, क्योंकि यह ऐसी जगह है जहां आप सब से ज्यादा समय बिताते हैं. फर्नीचर ऐसा चुनें जो वातावरण के अनुकूल एवं प्राकृतिक हो और स्थाई लकड़ी या बांस का बना हो. अगर आप पेंट किया या स्टेंड फर्नीचर चुन रहे हैं तो ध्यान रखें कि इस में वीओसी रहित पेंट का इस्तेमाल किया गया हो.

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4. चादरें

क्या आप जानते हैं कि कौटन की जिन चादरों पर आप अपने जीवन का एकतिहाई हिस्सा बिताते हैं, वे रसायनों से बनी होती हैं? कौटन की चादरों में फौर्मैल्डिहाइड और कैंसर पैदा करने वाले कारक होते हैं. ये रसायन अनिद्रा, छींकों, छाती में घरघराहट और सांस की समस्याओं का कारण बन सकते हैं. अत: कौटन की बनी और्गैनिक चादरें ही खरीदें. ये बेहद मुलायम होने के साथसाथ आराम का भी एहसास देती हैं.

साथ ही गद्दे भी ऐसे चुनें जो प्राकृतिक लैटेक्स से बने हों. मैमोरी फोम और इसी तरह के अन्य पैट्रो रसायन न केवल नींद में बाधा पैदा करते हैं, बल्कि स्वास्थ्य और पर्यावरण के लिए भी नुकसानदायक होते हैं.

5. फूल

क्या आप को वे दिन याद हैं जब लोगों के घरों में हरियाली के नाम पर कृत्रिम पौधे लगे होते थे, जो धूल की परतों से ढके होते थे? अब एक बार फिर से लोग प्रकृति की ओर रुख कर रहे हैं. घर की भीतरी साजसज्जा में प्राकृतिक फूल अपनी जगह बना रहे हैं. फूल डाइनिंग टेबल, कौफी व साइड टेबल को अनूठा प्राकृतिक एहसास देते हैं.

6. पेंट

घर की दीवारों का रंग बदलना घर को नया लुक देने का सब से आसान तरीका है. पेंट का चुनाव करते समय वीओसी रहित पेंट चुनें, जिस में हानिकारक रसायनों का इस्तेमाल न किया गया हो. सुनिश्चित करें कि पेंटिंग क्षेत्र में हवा का आवागमन अच्छी तरह से हो और जब पेंट का काम पूरा हो जाए तो इसे ठीक तरह से स्टोर किया जाए.

7. रोशनी

एलईडी लाइट सामान्य बल्ब की तुलना में कई गुना प्रभावी होती है. अत: अपने पुराने बल्ब की जगह एलईडी लाइट से कमरे की चमक को बढ़ाएं. ऊर्जा की भी बचत होगी.

8. कारपेट

अगर ठंड से परेशान हैं और कमरे में कुछ गरमाहट चाहते हैं तो फर्श को गलीचे या कालीन से ढक दें. फर्श पर बिछा कालीन गरमी को कमरे से बाहर नहीं जाने देता और कमरे को गरम बनाए रखता है. कालीन कई रंगों और डिजाइनों में उपलब्ध हैं.

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9. इको फ्रैंडली मोमबत्ती

मोमबत्ती बनाने में बड़ी मात्रा में पैराफिन का इस्तेमाल होता है. पैराफिन एक पैट्रोलियम वैक्स है, जो प्राकृतिक नहीं है. यह पर्यावरण के अनुकूल नहीं है.

मोमबत्ती बनाने का ईको फ्रैंडली तरीका है ग्रीन कैंडल वैक्स का चुनाव. बी वैक्स 100 फीसदी प्राकृतिक है, इस में किसी तरह के हानिकर रसायन नहीं होते. आप इसे पिघलाए बिना ही मोमबत्ती बना सकते हैं. बी वैक्स शीट्स आसान और पर्यावरण के अनुकूल विकल्प है.

अमी साता, फाउंडर, अमोव

रंगों से सजाएं आशियाना

जहां लोगों के मन में सर्दियों में क्रिसमस और नए साल का जोश समाया नजर आता है वहीं वे अपने घरों को रंगबिरंगे रंगों से सजाना भी नहीं भूलते. खूबसूरत रंग जहां घर के कमरों की रौनक बढ़ाने का काम करते हैं, वहीं मन को भी खुशी और शांति का एहसास दिलाते हैं, कैसे आइए जानते हैं:

दीवारों पर हों ब्राइट कलर्स

अगर आप इस उलझन में हैं कि सर्द ऋतु  में घर को पेंट करने के लिए कौन सा रंग चुनें जो घर को ब्राइट लुक दे तो परेशान न हों. प्रस्तुत हैं कुछ सुझाव:

सफेद : सफेद रंग सर्दियों में काफी पसंद किया जाता है. आप चाहें तो सफेद के साथ अलगअलग रंगों का मेल कर के भी घर को सजा सकती हैं.

क्रिमसन : जब बात लिविंगरूम को पेंट करने की आती हैं तो, बात थोड़ी चैलेंजिंग भरी लगती है. लेकिन यकीन मानिए जो लोग आप के कमरे में प्रवेश करेंगे उन्हें इस रंग को देख  कर यकीनन अलग सा एहसास होगा.

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नीला :  नीला रंग हर मौसम की शान है. यह प्यारा सा रंग दीवारों में चमक भर देता है, फिर चाहे यह ब्राइट हो या फीका, यह सर्दियों में काफी पसंद किया जाता है.

भूरा : भूरा रंग किसी भी महिला का प्रिय हो सकता है, क्योंकि इस रंग से रंगी दीवारों पर लगी गंदगी एक  तो दिखाई नहीं देती दूसरे  इन्हें साफ करना भी आसान होता है.

नारंगी : नारंगी रंग आप के घर को सुंदर लुक दे सकता है. इस के काफी अलगअलग शेड्स उपलब्ध हैं, जो काफी लुभावने होते हैं.

आइवरी : आईवरी सर्दियों के लिए बैस्ट कलर है, जो आप के घर को चमकदार दिखा सकता है. इस रंग को आप अपने लिविंगरूम और बैडरूम में करवा सकती हैं.

हरा : हरा एक ऐसा रंग है जो, आंखों को सुकून प्रदान करने में मददगार होता है. इस का हलका शेड प्रयोग करें और फिर देखें कि आप का रूम कितना बड़ा लगता है.

गुलाबी : गुलाबी रंग घर और आंगन को बड़ा और ब्राइट लुक देता है.

लाल रंग : लाल रंग घर और कमरों को उज्जवल लुक देता है. आप चाहें तो रैड के साथ कोई दूसरा रंग भी मैच करवा सकती हैं. यह एक रोमांटिक रंग भी माना जाता है, इसलिए इसे बैडरूम में कराना न भूलें.

परदे हों दीवारों के रंग जैसे

आजकल मार्केट में तरहतरह के परदे उपलब्ध हैं, लेकिन उन्हें किस तरह से, किस मौसम में लगाना है, फैब्रिक कैसा हो यह हमारी समझ पर निर्भर करता है. सर्दियों में अपने घर के परदों का रंग ऐसा होना चाहिए-

जमीनी रंग : अगर आप के कमरे बड़े हैं तो यह कमरों को बेहद खूबसूरत बना देता है और अगर कमरे छोटे हैं तो उन्हें बड़ा सा लुक देगा. सामान्य परदों से महंगे इन परदों की क्वालिटी काफी अच्छी होती है. चाहें तो आप दीवार की डिजाइन से मैच करते हुए परदे भी लगा सकती हैं. सर्दियों में इस टैक्स्चर के परदे बेहद खूबसूरत लगेंगे.

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खिला लाल रंग : जहां यह सर्दियों में काफी गरमाहट दे कर मौसम के हिसाब से परफैक्ट लुक देता है, वहीं पीले परदे कमरे में जान डाल देते हैं. अगर आप को डार्क कलर के परदे पसंद नहीं हैं तो लाइट कलर में यलो चुनें. इन से रूम में बाहर से पर्याप्त रोशनी भी आएगी और लुक भी नया आएगा.

औरेंज : यह परफैक्ट सर्दियों के लिए कलर है. अगर घर को थोड़ा फनकी और ट्रैंडी लुक से हट कर दिखाना है तो औरेंज कलर के परदे लगाएं. ये घर को फ्रैश लुक देते हैं.

बोल्ड कलर के परदे :  अगर आप के घर या कमरे में हलका सा रंग है और उस पर कोई टैक्स्चर नहीं बना है तो बोल्ड कलर के परदे लगाएं.

मैरून और विंटर ब्लू : सर्दियों में मैरून रंग के परदे अच्छा ओप्शन है. ये रोशनी को अवशोषित कर के कमरे को गरमी प्रदान करते हैं. विंटर ब्लू रंग के परदों को बच्चों के कमरे या बैठक में लगाएं. ये रंग सर्दियों के लिए ही होते हैं. अपनी समझ के हिसाब से कई कौंबिनेशन भी तैयार कर सकती हैं.

पौधे भी हों रंगबिरंगे : सर्दियों का मौसम कम धूप और ठंडे तापमान के साथ कठोर होता है. कई फूल वाले पौधे सर्दियों के मौसम में सूख भी जाते हैं. लेकिन कुछ पौधे हैं, जो साल के ठंडे महीनों में यानी सर्दियों के मौसम में ही पनपते हैं. मौसमी फूलों के पौधे रंग और आकार में भिन्न होते हैं जैसे-

कैलेंडुला : ये विभिन्न रंगों में पीले से गहरे नारंगी तक पाए जा सकते हैं.

शीतकालीन चमेली : चमकीले पीले रंगों वाली शीतकालीन चमेली आप के बगीचे के लिए एक शानदार विकल्प है.

पैटूनिया : सर्दियों में बगीचे को सुंदर बनाने के लिए सफेद, पीला, गुलाबी, गहरा क्रिमसन और काला बैगनी पैटूनिया एकदम सही फूल है.

इंगलिश प्रिमोज : सफेद, पीले, नारंगी से नीले गुलाबी और बैगनी रंग के लगभग हर रंग में उगने वाले ये फूल सर्दियों में आप के बगीचे को सजाने के लिए बेहतर विकल्प हैं.

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घर सजाते समय कभी न करें ये 12 गलतियां

घर को सजाने की चाह में कई बार रचनात्मकता अपना कमाल दिखाती है मगर कभी-कभी गलतियां भी हो जाती हैं. फ्लैट छोटा हो और फर्नीचर बड़ा, पेंडेंट लाइट्स ज्यादा ऊपर हों, रग्स का सही चुनाव न किया जाए तो घर बेमेल सा नजर आने लगता है. थोड़ी समझदारी बरतें तो इन गलतियों से बचा जा सकता है या इन्हें सुधारा जा सकता है.

1. पर्दे

डेकोरेशन का नियम कहता है कि पर्दे फ्लोर लेंथ से लगभग एक इंच कम हों. कई बार पर्दे या तो फर्श को छूने लगते हैं या फिर कुछ ज्यादा ही छोटे हो जाते हैं. डेकोर की यह आम समस्या है.

2. टिप

बेहतर होगा कि पहले दरवाजे या खिड़कियों की नाप सही ढंग से लें. अगर फैब्रिक सिल्क का नहीं है तो हाइट थोड़ी ज्‍यादा रखें क्योंकि कई बार कॉटन फैब्रिक धोने के बाद सिकुड़ जाता है. वैसे इस समस्या से बचने के लिए इन्हें ड्राईक्लीन कराएं या फिर घर में धोने के बाद अच्छी तरह इस्तरी करें.

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3. फोटो फ्रेम्स

कई बार फैमिली फोटो फ्रेम्स या पेंटिंग्स की हाइट इतनी ऊंची हो जाती है कि उनकी डिटेलिंग समझ नहीं आती. ग्रुप में लगे फ्रेम्स अच्छे जरूर लगते हैं लेकिन इतने भी नहीं कि पूरी दीवार पर यही नजर आने लगें.

4. टिप

अगर घर में आर्ट गैलरी खोलना नहीं चाहती हों तो फ्रेम्स को ज्‍यादा हाइट पर न लगाएं. इन्हें फर्नीचर से 10-12 इंच या फ्लोर से लगभग 5 फिट ऊपर लगाएं ताकि ये आसानी से नजर आ सकें. व्यावहारिक सुझाव यह है कि फ्रेम्स इतने ऊपर हों कि सामान्य हाइट वाला व्यक्ति भी इन्हें देख सके और लोगों को अपनी गर्दन को स्ट्रेच करके इन्हें न देखना पड़े.

5. कार्बन कॉपी

सभी लोग किसी न किसी इंटीरियर थीम से प्रेरित होते हैं. दोस्तों, कलीग्स के घरों के अलावा फिल्मों-टीवी सीरियल्स और पत्रिकाओं में प्रकाशित घर भी उन्हें प्रेरित करते हैं. कई बार वे वैसी ही सजावट अपने घर में चाहते हैं. इसका मतलब यह नहीं है कि अपने घर को दूसरे के घरों की कार्बन कॉपी बना दें. घर में अपनी निजी पसंद, शौक, व्यक्तित्व, प्रोफेशन और स्टाइल की झलक भी मिलनी चाहिए.

6. टिप

किसी से प्रेरित होने से पहले सोचें कि क्या वह खास पैटर्न, फर्नीचर, फैब्रिक या वॉल कलर आपके घर के साइज, जरूरतों और उसमें रहने वालों की पसंद के अनुरूप है? घर में अपने व्यक्तित्व और रचनात्मकता की छाप होनी चाहिए. यह बात जरूर ध्यान में रखें कि घर रहने के लिए होता है. उसे इतना न सजाएं कि वह फाइव स्टार होटल में तब्दील हो जाए.

7. लाइटिंग

अमूमन घरों में सीलिंग या ओवरहेड लाइटिंग की व्यवस्था होती है. यूं भी फ्लैट सिस्टम में बिल्डर जितना देता है, उतने में ही संतुष्ट होना पड़ता है मगर कई बार लाइटिंग की अपर्याप्त व्यवस्था घर को नीरस या उदासीन बना देती है. इसलिए सीलिंग लाइट्स के अलावा भी घर में लाइटिंग की उचित व्यवस्था करें.

8. टिप

थोड़ा सा मेकओवर घर को जीवंत और ऊर्जा से भरा हुआ बना सकता है. घर की लाइटिंग में फेरबदल करें. फॉल्स सीलिंग के अलावा फ्लोर लैंप्स, पेंडेंट लाइट्स, टास्क लाइटिंग और ओवरहेड लाइटिंग लगवाएं. जिन आर्ट पीसेज या पेंटिंग्स को हाइलाइट करना चाहते हैं, उनमें हाइलाइटर लगवाएं.

9. दीवार से सटे फर्नीचर

स्पेस मैनेजमेंट कहें या सजावट का पारंपरिक तरीका, अमूमन घरों में फर्नीचर को दीवार से सटाने का नियम चला आ रहा है. कई घरों में तो सेंटर टेबल भी सेंटर के बजाय दीवार से सटा कर रखी जाती है. इस फ्लोर प्लैन में थोड़ा सा बदलाव जरूरी है.

10. टिप

भले ही घर छोटा हो, अपने सारे फर्नीचर्स दीवार से सटा कर न रखें. दीवार से 2-3 इंच दूरी पर सामान रखेंगे तो न सिर्फ जगह ज्‍यादा खुली दिखेगी बल्कि फर्नीचर और दीवार की खूबसूरती भी निखर कर आएगी.

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11. ड्रॉइंग रूम

अमूमन घरों में लिविंग स्पेस या ड्रॉइंग रूम के डेकोर पर ज्‍यादा ध्यान दिया जाता है. कारण यह है कि मेहमानों का स्वागत यहीं होता है. इस कारण कई बार ड्रॉइंग रूम में सारी सुंदर कलाकृतियां, देश-विदेश से खरीदी गई पेंटिंग्स या आर्ट पीसेज, कार्पेट्स, रग्स, लैंप्स, अवॉर्ड्स गिफ्ट्स सजा दिए जाते हैं. छोटे से स्पेस में इतने फोकल पॉइंट्स न तैयार करें कि नजर कहीं भी ठहर न पाए.

12. टिप

जरूरी नहीं कि सारे फोटो फ्रेम्स ड्रॉइंग रूम में लगा दें, सीढियों के नीचे या पैसेज में भी इन्हें लगा सकते हैं. अवॉर्ड्स को शोकेस करना चाहते हैं तो बार को डाइनिंग एरिया या कमरे के किसी दूसरे कॉर्नर पर शिफ्ट करें.

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