कार और बाइक की खरीद पर लाखों रुपए खर्च करने वाले आम तौर पर व्हीकल इंश्योरेंस करवाते ही हैं. लेकिन ये लोग व्हीकल इंश्योरेंस से जुड़े डेट इंश्योरेंस कवर के बारे में कम जानकारी रखते हैं. हम अपनी इस खबर में आपको इसी के बारे में जानकारी देने जा रहे हैं. साथ ही हम आपको यह भी बताएंगे कि यह सामान्य मोटर इंश्योरेंस कवर से कितना अलग होता हैं.

जीरो डेप्रिशियएशन इंश्योरेंस कवर सामान्य मोटर इंश्योरेंस कवर से कितना अलग: ये एक विशेष प्रकार का इंश्योरेंस कवर होता है, जिसमें व्हीकल के डेप्रिसिएशन के बाद भी फुल इंश्योरेंस की सुविधा दी जाती है. इसे डेट इंश्योरेंस भी कहा जाता है. इसमें आपको सिर्फ फाइल चार्ज देना होता है. एक बार इंश्योरेंस अप्रूवल मिलने के बाद किसी भी नुकसान की पूरी भरपाई कंपनियों की ओर से की जाती है, जबकि जनरल मोटर इंश्योरेंस कवर में आपको सिर्फ व्हीकल के चुनिंदा पार्ट्स को ही कवर करने की सुविधा मिलती है. जनरल इंश्योरेंस में सिर्फ चुनिंदा पार्ट्स पर ही कवर मिलता है लिहाजा इसका प्रीमियम कम होता है जबकि डेट इंश्योरेंस कवर का प्रीमियम काफी ज्यादा होता है क्योंकि इसमें गाड़ी के पार्ट्स नहीं बल्कि पूरी गाड़ी को कवर किया जाता है. इसमें इंश्योरेंस की वैल्यू निकालते दौरान डेप्रिसिएशन को शामिल नहीं किया जाता है.

क्या होती है डेप्रिसिएशन की दर?

डेप्रिसिएशन का मतलब यह होता है कि एक निश्चित अवधि के दौरान व्हीकल की कीमत में नुकसान के कारण कितनी गिरावट आ चुकी है. कार के अलग अलग हिस्सों के हिसाब से डेप्रिसिएशन की दर अलग अलग होती है. यह इंश्योरेंस पौलिसी के हिसाब से तय होती है. मानक दरें इस प्रकार से होती हैं:

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