सुदूर पहाड़ की खूबसूरत वादियों में रहने वाली नागालैंड के व्यवसायी परिवार की 24 वर्षीय सुंदरी सी एलीना संगतम को जब मिस क्वीन ऑफ़ नेशन्स 2020 के ब्यूटी पेजेंट का ख़िताब मिला, तो उसकी ख़ुशी का ठिकाना न रहा. डिजिटल प्लेटफॉर्म पर यह पहला ऐसा मौका था जहाँ 60 सुंदरियों को कई मानकों को पार कर उद्देश्य तक पहुंचना था. इस प्रतियोगिता को जीतना एलीना के लिए आसान नहीं था. उसकी आत्मविश्वास और अपने राज्य के प्रति कुछ कर गुजरने की इच्छा उसे यहाँ तक लायी है. शांत और सौम्य स्वभाव की एलीना से बात हुई,पेश है कुछ खास अंश. 

सवाल-इस प्रतियोगिता को जीतना कितना मुश्किल था? डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म के बारें में आपकी सोच क्या है?

  हर प्रतियोगिता मुश्किल होती है. मैंने कई कॉम्पिटीशन में भाग लिया और जीती भी थी. इससे मुझे लगा कि मैं कुछ अलग कर सकती हूं और यही मेरे लिए चुनौती थी. इसकी तैयारी मैंने कुछ सालों से शुरू कर दी थी, जिसमें मैंने बहुत सारे सामाजिक काम किये है, मसलन गर्ल चाइल्ड के लिए काम करना, बेटी बचाओं बेटी पढाओं अभियान में शामिल होना, मेंसुरल हायजिन, दहेज़, शिक्षा आदि से जुड़े सभी पर काम करना शुरू कर दिया था, क्योंकि मुझे ये करना पसंद था. इससे पहले भी मैंने कई प्रतियोगिताओं में भाग लिया था, जिसमें मैं नागालैंड प्रिंसेस सेकेण्ड रनर अप के अलावा फोटोजेनिक प्रिंसेस आदि कई ख़िताब जीत चुकी हूं. इसके बाद मैंने इस प्रतियोगिता की तैयारी की, क्योंकि ये शीर्षक मुझे सामाजिक काम करने की आज़ादी देता है, जो मैं करना चाहती हूं, क्योंकि नागालैंड में लड़कियों में शिक्षा की कमी है, लेकिन उन्हें घर सम्हालना पड़ता है, ऐसे में वे काम की तलाश में राज्य से दूर परिवार को छोड़कर जाती है, जो मुझे ठीक करने की इच्छा है. इस तरह काम करते-करते मैंने अपने आप को निखारा और मुझे एन आई एच एम ने मिस क्वीन ऑफ़ नेशन का ख़िताब दिया, जो मेरे लिए एक प्रेस्टीजियस अवार्ड है.

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