Menstrual Hygiene :  पीरियड्स के दौरान साफसफाई बनाए रखने की बहुत जरूरत होती है, क्योंकि इस दौरान की गई लापरवाही स्त्रियों में इन्फैक्शन, जैनिटल पार्ट से जुड़ी बीमारी होने का खतरा रहता है, जिस का असर बाद में सेहत पर पड़ता है.

ऐसा देखा गया है कि जब लड़कियां रीप्रोडकटिव एज में आती हैं, तो उन्हें पीरियड्स से जुड़ी हाइजीन के बारे में बहुत कम जानकारी होती है, क्योंकि घर की वयस्क स्त्रियां भी खुल कर उन से बात नहीं करतीं, क्योंकि वे कई सारी मान्यताएं और भ्रम की शिकार होती हैं और छिपछिप कर बात करने में विश्वास रखती हैं, जिस से लड़कियां कई जरूरी बातों से अनभिज्ञ रह जाती हैं. इस से कम उम्र में ही वे वैजाइनल इन्फैक्शन और यूटरस संबंधी बीमारियों से घिर जाती हैं. कई बार ये बीमारियां गंभीर रूप भी ले लेती हैं, जिस का असर गर्भाशय पर पड़ता है.

क्या कहते हैं आंकड़े

नैशनल फैमिली हैल्थ के अनुसार, भारत में 15 से 24 साल की उम्र वाली लड़कियां 50% स्वच्छता के मामले पीछे हैं और अभी भी वे कपड़ों का प्रयोग पीरियड्स के दौरान करती हैं जबकि ऐक्सपर्ट हमेशा इन दिनों हाइजीन बनाए रखने की बात करते हैं, जिसे लड़कियों द्वारा नजरअंदाज करना कई बार भरी पड़ सकता है.

बदली है सोच

आज की अधिकतर लड़कियां स्टडी करने वाली या वर्किंग हैं. महीने के इन दिनों में वे छुट्टी ले कर घर बैठ नहीं सकतीं और न ही वे बैठना चाहती हैं. ऐसे में उन्हें काम के साथसाथ उन दिनों की साफसफाई और हाइजीन पर भी ध्यान देना पड़ता है, ताकि इस की कमी से वे किसी प्रकार की बीमारी की शिकार न हो जाएं.

ऐसे में पीरियड्स के दौरान साफसफाई के अलावा एक पीरियड किट भी साथ में रख लेने की खास आवश्यकता होती है, जिसे जान लेना जरूरी है. इसे वे घर पर खुद तैयार कर सकती हैं या औनलाइन शौपिंग भी कर सकती हैं. कुछ सुझाव निम्न हैं :

● आजकल सैनिटरी पैड, टैंपोन या मैंस्ट्रुअल कप रक्त को अवशोषित या इकट्ठा करने के लिए होते हैं, जिसे लड़कियां आसानी से प्रयोग कर सकती है. ये बाजार में अलगअलग प्रकार के मिलते हैं, जिन्हें लड़कियां अपने ब्लड फ्लो के अनुसार चुन सकती हैं. ऐक्स्ट्रा एक जोड़ी पैड, टैंपोन या मैंस्ट्रुअल कप अपने पास किट में अवश्य रखें, ताकि आप जरूरत के अनुसार इसे बदल सकें.

● अगर आप पीरियड्स के दौरान बाहर सफर कर रही हैं या काम पर जा रही हैं, तो आप को एक अतिरिक्‍त जोड़ी अंडरवियर जरूर रखनी चाहिए, अगर आप की अंडरवियर में दाग लग जाता है, तो आप इसे बदल सकती हैं. आप को बता दें कि गंदी और दाग लगी अंडरवियर को पहने रखना हाइजीनिक नहीं है.

● इन दिनों हाथ पोंछने के लिए, खासकर अगर स्नान की सुविधा नहीं है, तो एक छोटा तौलिया अपने पास अवश्य रखें. इस के साथसाथ एक फ्लैशलाइट अपने पास रखें, ताकि कम रोशनी में आप टौयलेट की हाइजीन को देखने की समस्या से बच सकें.

● हाथों को साफ करने के लिए, खासकर जब साबुन और पानी उपलब्ध न हो, तो एक सैनिटाइजर अपने पास रखें.

● सैनिटरी पैड और टैंपोन को सुरक्षित तरीके से डिस्पोज औफ किया जाना चाहिए. इस के लिए एक जोड़ी पैड के रैपर या टौयलेट पेपर अपने किट में रखें, ताकि यूज्ड पैड को एक पैड रैपर या टौयलेट पेपर में लपेट कर डस्टबिन में फेंक दें, जो इस की गंध को रोकने और बैक्टीरिया को फैलने से रोकने में मदद करता है.

● कुछ लड़कियों को पीरियड्स के दौरान पेट के निचले हिस्से में दर्द होता है. ऐंठन और दर्द को कम करने के लिए अपने पास दर्द निवारक दवाइयां डाक्टर की सलाह से अवश्य रख लें.

रैडीमेड मैंस्ट्रुअल किट

आजकल मार्केट में या औनलाइन कई प्रकार के रैडीमेड मैंस्ट्रुअल हाइजीन केयर किट मिल जाते हैं, जिसे लड़कियां आसानी से खरीद कर रख सकती हैं, जिस में 100 फीसदी डिस्पोजेबल सौफ्ट और्गेनिक 12 कौटन पैड्स, रियूजेबल पैड्स, 10 टैंपोन, जिस में 5 रैगुलर और 5 सुपर ऐबजौर्ब करने वाली टैंपोन और मैंस्ट्रुअल कप होते हैं. हर किट में ऐक्स्ट्रा डिस्पोजेबल पैड्स भी होते हैं ताकि रियूजेबल पैड्स को यूज करने में हो रही परेशानियों से बचा जा सकें. इस के अलावा हैंड सैनिटाइजर, 4 ट्रेश बैग्स, वेट टिशू पैकेट औफ 10, बाथ साइज सोप, वन पैक औफ फ्लशेबल वाइप्स, 6 फ्रैगरेंस फ्री लाऊंड्री शीट्स, जिसे जिपलौग बैग में रखा गया हो आदि मिलते हैं, जो किसी भी लड़की के लिए पीरियड के दौरान अच्छी और हाइजीन को बनाए रखने में सहायक होती हैं.

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