Know Your BMI: बीएमआई का मतलब बौडी मास इंडैक्स होता है. यह एक स्क्रीनिंग टूल है जो शरीर में वसा की मात्रा का अनुमान लगाने के लिए व्यक्ति की ऊंचाई और वजन के अनुपात को मापता है. दूसरे शब्दों में कहें, तो आप का वजन आप की हाइट के अनुसार सही है या नहीं इस का पता बौडी मास इंडैक्स से लगाते हैं.

1990 के अंत में बीएमआई का फौर्मूला आया, जो वर्तमान दौर में मोटापा जांचने का इंटरनैशनल और सर्वमान्य मानक है यानि शरीर के अनुपात के हिसाब से फैट कितना ज्यादा या कम है, यह पता लगाने का तरीका बीएमआई है.

इस बारे में बता रही हैं डाक्टर रिया अग्रवाल :

ऐसे करें कैलकुलेट

बीएमआई यानि बौडी मास इंडैक्स मोटापा जांच करने का अंतर्राष्ट्रीय मानक है. अपना बीएमआई मापने के लिए अपने वजन को अपनी लंबाई (इंच में) से भाग करें.

बीएमआई के आधार पर आप यह जांच सकते हैं कि आप का वजन सामान्य है या उस से अधिक. भारतीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मानकों के अनुसार सामान्य बीएमआई 23 से कम है, ओवरवेट 23 से ज्यादा है और 25 से ज्यादा बीएमआई वालों को मोटापे की श्रेणी में रखा जाता है.

 

कुछ यों है बीएमआई का फौर्मूला

 

  • यदि बीएमआई माप 18 से कम आए, तो वजन सामान्य से कम है.
  • यदि माप 18.5 से 24.9 के बीच आए, तो आप का वजन सामान्य है.
  • यदि माप 25 से 29 के बीच आए, तो आप का वजन ज्यादा है. ऐसे में सांस फूलना, अधिक पसीना आना, सीढ़ियां चढ़ने में तकलीफ, फैटी लिवर जैसी समस्या हो सकती हैं.
  • यदि बीएमआई माप 29.9 से ज्यादा आए, तो आप मोटापे के शिकार हैं. इस के कारण हृदयरोग, कैंसर, डायबिटीज की समस्या हो सकती है.

बीएमआई कम करने के उपाय

 

  • डेली रूटीन और डाइट में बदलाव कर बीएमआई कम कर सकते हैं.
  • हफ्ते में कम से कम 5 दिन 30 मिनट तक एरोबिक्स ऐक्सरसाइज करें.
  • सैचुरेटेड फैट वाली चीजों का सेवन कम से कम करें.
  • हाई फैट फूड्स से तोबा कर लें.
  • मांस, फलसब्जियों और साबुत अनाज और लो कोलेस्ट्रोल वाले फूड्स ही अपनाएं.
  • रैड मीट और शर्करा वाले फूड्स ड्रिंक कम करें.

स्वस्थ बौडी मास इंडैक्स के भी हैं कई फायदे

वजन कम करना और स्वस्थ बौडी मास इंडैक्स (बीएमआई) बनाए रखना आप के लिए कई तरह से फायदेमंद है:

  • इस से अच्छी नींद आती है.
  • ऐनर्जी लेवल काफी अच्छा बना रहता है, जिस से आप हैल्दी फील करते हैं.
  • ब्लड प्रेशर को नियंत्रण में रख सकते हैं.
  • यह कार्डियो सर्कुलेट्री सिस्टम पर कम दबाव बनता है.
  • ब्लड ट्राइग्लिसराइड्स लेवल कम करने में मदद करता है.
  • ब्लड शुगर को सही रखने में मदद करता है.
  • डायबिटीज, हार्ट डिजीज और कैंसर की संभावना को भी कम करता है.

 

बीएमआई की कुछ सीमाएं भी हैं, इस का भी ध्यान रखें :

  • यह सीधे शरीर में वसा को नहीं मापता है.
  • यह मसल्स के द्रव्यमान, हड्डियों के घनत्व या वसा के वितरण जैसे कारकों को ध्यान में नहीं रखता है.
  • यह एथलीटों या मसल्स वाले लोगों के लिए सटीक नहीं हो सकता है.
  • यह वृद्ध लोगों या मसल्स को खो चुके लोगों के लिए सटीक नहीं हो सकता है.
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