कोविड महामारी की दूसरी लहर में प्रेग्नेंट महिलाओं के बारें में सोचना आवश्यक है, क्योंकि प्रेग्नेंट महिलाएं वैसे भी किसी प्रकार के इन्फेक्शन के चपेट में आसानी से आ जाती है. इस महामारी में वे खुद को बचाने की कोशिश करने के बावजूद संक्रमित हो जा रही है. इस बार  कोरोना संक्रमण का पता लगाना मुश्किल हो रहा है, क्योंकि इस बार बिना लक्षण के अधिकतर लोग संक्रमित हो रहे है, क्योंकि ये संक्रमण हवा में फ़ैल रहा है, ऐसे में प्रेग्नेंट महिलाओं को सतर्क रहने की आवश्यकता है.

कोविड टेस्ट है जरुरी  

इस बारें में खारघर, नवी मुंबई की मदरहुड हॉस्पिटल की ऑब्स्टेट्रिशियन और गायनेकोलॉजिस्ट डॉ. प्रतिमा थमके कहती है कि इस महामारी में हर प्रेग्नेंट महिला को अपने डॉक्टर के कांटेक्ट में रहना चाहिए, क्योंकि इस बार कोरोना बहुत जल्दी फ़ैल रहा है और बहुत जल्दी सबको अपनी चपेट में ले रहा है, जैसा पहली वेब में नहीं था. बड़े अस्पताल डिलीवरी टाइम के नजदीक आते ही कोविड टेस्ट करा लेते है. अगर रिपोर्ट पोजिटिव आता है, तो उसे कोविड हॉस्पिटल में भेजा जाता है. ऐसा करना बहुत जरुरी है, क्योंकि प्रेग्नेंट कोविड पॉजिटिव को अलग रखना जरुरी है. किसी को भी डरने की आवशयकता नहीं है, लेकिन जो भी सावधानी कोविड के लिए है, उसका पालन करें, मसलन डिस्टेंस रखना, मास्क पहनना और बार-बार हाथ धोना. इससे कोविड वायरस के संक्रमित होने का चांस कम रहते है, पर इस बार सब फोलो करके भी कोविड हो रहा है.  कोविड पॉजिटिव व्यक्ति को तुरंत आइसोलेट करना जरुरी है. कोविड निगेटिव होने के बाद ही उसे बाहर निकलने की अनुमति होनी चाहिए. खुद को प्रोटेक्ट करना चाहिए. कोविड पॉजिटिव बहुत कम प्रेग्नेंट लेडी को होता है, लेकिन कोविड पॉजिटिव होने पर प्रेग्नेंट महिला को बाकी लोगों के जैसे ही चिकित्सा दी जाती है.

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