कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप की वजह से सम्पूर्ण विश्वभर के लोग अब पर्सनल हाइजीन पर पहले से कई अधिक ध्यान देने लगे हैं. वायरस दूरी बनाए रखने के लिए लोग बार-बार साबुन से हाथ धोना या अल्कोहल बेस्ड सैनिटाइजर का इस्तेमाल कर रहें हैं.इस समय मार्केट में हैंड सैनिटाइजर की भारी डिमांड है. ऐसे समय में आपको ये जानना बेहद जरूरी है कि आपके पास जो हैंड सैनिटाइजर है वह असली है या नकली.

कैसे जानें सैनिटाइज़र असरदार है या नहीं?

इस बारे में मैक्स सुपर स्पेशिएलिटी अस्पताल साकेत एवं मैक्स मल्टी स्पेशिएलिटी सेंटर, पंचशील पार्क नई दिल्ली के एसोसिएट डायरेक्टर एंड इंटरनल मेडिसिन डॉक्टर रोमेल टिक्कू का कहना है कि अल्कोहल हैंड सैनिटाइज़र का एक बहुत महत्वपूर्ण इन्ग्रीडिएंट है इसलिए जो सैनिटाइज़र आप ख़रीदें, चेक करें कि उसके लेबल पर इथाइल अल्कोहल, इथेनॉल या आइसोप्रोपाइल अल्कोहल ज़रूर लिखा हो. सैनिटाइज़र में अल्कोहल का प्रतिशत 60 से 95 के बीच होना चाहिए. तभी यह जर्म्स और वायरस को मारने में प्रभावी होगा. वहीं 60% से कम अल्कोहल वाले सैनिटाइज़र्स संक्रमण रोकने में किसी काम के साबित नहीं होंगे.एक बात और जहां सैनिटाइज़र में मौजूद अल्कोहल बैक्टीरियाज़ और जर्म्स का सफ़ाया करने का काम करता है, वहीं अल्कोहल की इतनी ज़्यादा मात्रा आपके हाथों को रूखा बना सकती है. अत: ऐसा सैनिटाइज़र चुनें, जिसमें विटामिन E भी हो, जो आपके हाथों को रूखेपन से से बचा सके.

कैसे करें हैंड सैनिटाइज़र इस्तेमाल

जब आप हैंड सैनिटाइज़र का इस्तेमाल करें तो सुनिश्चित करें कि हाथ साफ करने से पहले आपके हाथ सूखे हों क्योंकि हैंड सैनिटाइजर में मौजूद अल्को हल तभी काम करता है जब आपके हाथ सूखे हों.
सैनिटाइजर की दो-तीन बूंद लें और उसे अपनी हथेलियों, उंगलियों के बीच , हथेलियों के ऊपर की त्वचा और नाखूनों के आसपास की स्किन पर अच्छी तरह से रब करें. सूखने से पहले सैनिटाजर को ना पोछें, ना ही धोएं. सैनिटाइटर का उपयोग करने के बाद सुनिश्चित करें कि यह आपकी त्वचा में ठीक से अवशोषित हो. सीडीसी के अनुसार बैक्टेरिया का सफाया करने के लिए सैनिटाइज़र को कम से कम 30 सेकेंड के लिए हाथों पर मलना चाहिए.

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