कृति का चक्कर यहां चल रहा है

फिल्म ‘हीरोपंती’ की हीरोइन कृति इन दिनों मौडल गौरव अरोड़ा के साथ डेटिंग कर रही हैं. उन्हें कई मौकों पर एकसाथ देखा गया है. फिल्मों में आने से पहले कृति भी मौडल रह चुकी हैं और तभी से दोनों एकदूसरे से परिचित हैं. फिलहाल अभी तो कृति पर रोहित की फिल्म ‘दिलवाले’ का बुखार छाया हुआ है. इस फिल्म में पहली बार कृति वरुण धवन के साथ दिखेंगी. उन की जोड़ी के साथ काजोल और शाहरुख की सुपरहिट जोड़ी भी इस फिल्म में दर्शकों को देखने को मिलेगी.

अपनी बलिए के लिए नाच रहा हूं.

‘नच बलिए 7’ में अपनी बलिए करिश्मा तन्ना के साथ डांस फ्लोर पर आग लगाने वाले उपेन पटेल ने ‘नच बलिए’ की स्टेज पर ही करिश्मा को प्रपोज किया था और वहीं सगाई की. दोनों के परिवार वाले भी वीडियो कौन्फ्रैंसिंग के जरीए सगाई में शामिल हुए थे. इस शो के प्रमोशन के दौरान दिल्ली आए इस हौट कपल ने कहा कि ‘बिग बौस’ ने तो हम दोनों को मिलाया था. पर ‘नच बलिए’ वह मंच है जहां हम एकदूसरे के और करीब आए और एकदूसरे को अच्छी तरह समझा. इस शो की शूटिंग के 3 महीनों के दौरान ही हम लोगों को ऐसा लगा कि अब हमें साथसाथ रहना चाहिए. उपेन के साथ डांस करने के अनुभव पर करिश्मा का कहना है कि डांस की प्रैक्टिस के दौरान सिर्फ उस स्टैप पर उपेन का मुंह देखने लायक होता था जब उसे मुझे लिफ्ट कराना होता था क्योंकि मेरी लंबाई उपेन से ज्यादा है. पर उपेन ने सभी स्टैप्स दिल से किए क्योंकि साथ में दिलरुबा जो थी. ‘बिग बौस’ में तो यह कपल हौट था ही ‘नच बलिए’ शो में भी इस जोड़ी ने साल्सा, रोबोटिक डांस और चौकलेट में रैप हो कर सैंसुअस डांस की जो भी प्रस्तुतियां दीं वे सचमुच काबिले तारीफ थीं.

 

सनी ने दिया करारा जवाब

बौलीवुड की हौट बाला को देख कर भला कौन काबू में रह सकता है? और गुस्ताखी भी उस के हब्बी के सामने ही. ऐसा सनी लियोनी के साथ एमटीवी के शो ‘स्प्लिट्सविला’ के सैट पर हुआ. वहां सारा खान के ऐक्स बौयफ्रैंड पारस छाबड़ा ने सनी के साथ कुछ ज्यादा ही नजदीकियां बढ़ाने की कोशिश की तो सनी ने प्रोडक्शन टीम से कह कर पारस को बाहर का रास्ता दिखाया. सिर्फ इतना ही नहीं. राखी सावंत ने सनी की बौलीवुड की और ऐक्ट्रैसेस को छोटे कपड़े पहनने के लिए विवश करने की आलोचना की, तो सनी को भारत से निकल जाने को भी कहा. सेलिना ने उन के घर में किराए पर रह रहे सनी और उन के पति पर घर में गंदगी फैलाने का आरोप लगाया. पर सनी का कहना है कि कि मैं बेमतलब की और बेबुनियाद बातों पर टिप्पणी करना सही नहीं मानती.

आनंद और यौन तृप्ति

विभा ने 25-26 वर्ष की उम्र में जिस से विवाह करने का निर्णय लिया वह वाकई दूरदर्शी और समझदार निकला. विभा ने खूब सोचसमझ कर, देखपरख कर यानी भरपूर मुलाकातों के बाद निर्णय लिया कि इस गंभीर विचार वाले व्यक्ति से विवाह कर वह सुखी रहेगी. विवाह होने में कुछ ही दिन बचे थे कि इसी बीच भावी पति ने एसएमएस भेजा जिसे पढ़ विभा सकुचा गई. लिखा था, ‘‘तुम अभी से गर्भनिरोधक गोलियों का सेवन शुरू कर दो वरना बाद में कहोगी कि खानेखेलने भी नहीं दिया बच्चे की परवरिश में फंसा दिया. सैक्स पर कुछ पढ़ लो. कहोगी तो लिंक भेज दूंगा. नैट पर देख लेना.’’ यह पढ़ विभा अचरज में पड़ गई. उसे समझ नहीं आ रहा था कि अपने होने वाले पति की, अटपटी सलाह पर कैसे अमल करे? कैसे व किस से गोलियां मंगवाए व खाए? साथ ही इस तरह की बातें नैट पर पढ़ना तो सब से कठिन काम है, क्योंकि वहां तो पोर्न ही पोर्न भरा है, जो जानकारी देने की जगह उत्तेजित कर देता है.

मगर विभा की यह दिक्कत शाम होतेहोते हल हो गई. दोपहर की कुरियर से अपने नाम का पैकेट व कुछ किताबें पाईं. गोली प्रयोग की विधि भी साथ में भेजे पत्र में थी और साथ एक निर्देश भी था कि किताबें यदि मौका न मिले तो गुसलखाने में ले जा कर पढ़ना, संकोच मत करना. विवाह वाले दिन दूल्हा बने अपने प्यार की आंखों की शरारती भाषा पढ़ विभा जैसे जमीन में गढ़ गई. सुहागरात को पति ने प्यार से समझाया कि सकुचाने की जरूरत नहीं है. इस आनंद को तनमन से भोग कर ही जीवन की पूर्णता हासिल होती है.

आधीअधूरी जानकारी

ज्यादातर युवतियों को तो कुछ पता ही नहीं होता. न उन्हें कोई बताता है और न ही वे सकुचाहट व शर्म के कारण खुद ही कुछ जानना चाहती हैं. पासपड़ोस, सखीसहेलियों से जो आधीअधूरी जानकारी मिलती है वह इतनी गलतफहमी भरी होती है कि यौन सुख का अर्थ भय में बदल उन्मुक्त आनंद व तृप्ति नहीं लेने देता. नैट पर केवल प्रोफैशनल दिखते हैं, आम लोग नहीं जो पोर्न बेचने के नाम पर उकसाते भर हैं. वास्तव में पिया के घर जाने की जितनी चाहत, ललक हर लड़की में होती है, उसी प्रियतम से मिलन किस तरह सुख भरा, संतोषप्रद व यादगार हो, यह ज्यादातर नहीं जानतीं. कभीकभार सहेलियों की शादी के अनुभव सुन वे समझती हैं कि शादी के बाद पति का संग तो दुखदायी व तंग करने वाला होता है. जैसे कोई हमउम्र सहेली कहे कि बड़े तंग करते हैं तेरे बहनोई पूरीपूरी रात सोने नहीं देते. सारे बदन का कचूमर बना देते हैं. बिन ब्याही युवतियों के मन में यह सब सुन कर दहशत जगना स्वाभाविक है. ये बातें सुनते समय कहने वाली की मुखमुद्रा, उस के नेत्रों की चंचलता, गोपनीय हंसी, इतराहट तो वे पकड़ ही नहीं पातीं. बस, शब्दों के जाल में उलझ पति का साथ परेशानी देगा सोच घबरा जाती हैं. ब्याह के संदर्भ में कपड़े, जेवर, घूमनाफिरना आदि तो उन्हें लुभाता है, पर पति से एकांत में पड़ने वाला वास्ता आशंकित करता रहता है. परिणामस्वरूप सैक्स की आधीअधूरी जानकारी भय के कारण उन्हें या तो इस खेल का भरपूर सुख नहीं लेने देती या फिर ब्याह के बाद तुरंत गर्भधारण कर लेने से तबीयत में गिरावट के कारण सैक्स को हौआ मानने लगती हैं.

सैक्स दांपत्य का आधार

सैक्स दांपत्य का आधार है. पर यह यदि मजबूरीवश निभाया जा रहा हो तो सिवा बलात्कार के और कुछ नहीं है और जबरन की यह क्रिया न तो पति को तृप्त कर पाती है और न ही पत्नी को. पत्नी पति को किसी हिंसक पशु सा मान निरीह बनी मन ही मन छटपटाती है. उधर पति भी पत्नी का मात्र तन भोग पाता है. मन नहीं जीत पाता. वास्तव में यह सुख तन के माध्यम से मन की तृप्ति का है. यदि तन की भूख के साथ मन की प्यासी चाहत का गठबंधन न हो तब सिर्फ शरीर भोगा जाता है जो मन पर तनाव, खीज और अपराधभाव लाद दांपत्य में असंतोष के बीज बोता है. सिर्फ काम नहीं, बल्कि कामतृप्ति ही सुखी, सुदीर्घ दांपत्य का सेतु है. यह समझना बेहद जरूरी है कि पति के संग शारीरिक मिलन न तो शर्मनाक है न ही कोई गंदा काम. विवाह का अर्थ ही वह सामाजिक स्वीकृति है जिस में स्त्रीपुरुष एकसूत्र में बंध यह वादा करते हैं कि वे एकदूसरे के पूरक बन अपने तनमन को संतुष्ट रख कर वंशवृद्धि भी करेंगे व सफल दांपत्य भी निबाहेंगे. यह बात विशेषतौर पर जान लेने की है कि कामतृप्ति तभी मिलती है जब पतिपत्नी प्रेम की ऊर्जा से भरे हों. यह वह अनुकूल स्थिति है जब मन पर कोई मजबूरी लदी नहीं होती और तन उन्मुक्त होता है. विवाह का मर्म है अपने साथी के प्रति लगाव, चाहत और विश्वास का प्रदर्शन करना. सैक्स यदि मन से स्वीकारा जाए, बोझ समझ निर्वाह न किया जाए तभी आनंद देता है. सैक्स पुरुष के लिए विशेष महत्त्व रखता है.

पौरुष का अपमान

पत्नियों को इस बात को गंभीरता से समझ लेना चाहिए कि पति यौन तिरस्कार नहीं सह पाते हैं, क्योंकि पत्नी का ऐसा व्यवहार उन्हें अपने पौरुष का अपमान प्रतीत होता है. पति खुद को शारीरिक व भावनात्मक माध्यम के रूप में प्रस्तुत करे तो वह स्पष्ट प्यार से एक ही बात कहना चाहता है कि उसे स्वीकार लो. यह पति की संवेदनशीलता है जिसे पहचान पाने वाली पत्नियां ही पतिप्रिया बन सुख व आनंद के सागर में गोते लगा तमाम भौतिक सुखसाधन तो भोगती ही हैं, पति के दिल पर भी राज करती हैं. कितनी आश्चर्यजनक बात है कि सैक्स तो सभी दंपती करते हैं, लेकिन वे थोड़े से ही होते हैं जिन्हें हर बार चरमसुख की अनुभूति होती. आज की मशीनी जिंदगी में और यौन संबंधी भ्रामक धारणाओं ने समागम को एकतरफा कृत्य बना दिया है. पुरुष के लिए आमतौर पर यह तनाव से मुक्ति का साधन है, कुछ उत्तेजित क्षणों को जी लेने का तरीका है. उसे अपने स्खलन के सुख तक ही इस कार्य की सीमा नजर आती है पर सच तो यह है कि वह यौन समागम के उस वास्तविक सुख से स्वयं भी वंचित रह जाता है जिसे चरमआनंद कहा जा सकता है. अनिवार्य दैनिक कार्यों की तरह किया गया अथवा मशीनी तरीके से किया गया सैक्स चरमसुख तक नहीं ले जाता. इस के लिए चाहिए आह्लादपूर्ण वातावरण, सुरक्षित व सुरुचिपूर्ण स्थान और दोनों पक्षों की एक हो जाने की इच्छा. यह अनूठा सुख संतोषप्रद समागम के बाद ही अनुभव किया जा सकता है. तब ऐसा लगता है कि कभी ये क्षण समाप्त न हों. तब कोई भी तेजी बर्बरता नहीं लगती, बल्कि मन करता है कि इन क्षणों को और जीएं, बारबार जीएं. जीवन का यह चरमआनंद कोई भी दंपती प्राप्त कर सकता है, लेकिन तभी जब दोनों की सुख के आदानप्रदान की तीव्र इच्छा हो.

शौपिंग फौर लिंजरी

जमाना है एक परफैक्ट फिगर का और उस पर पहनी जाने वाली आप की परफैक्ट लिंजरी का. यदि वही सही नहीं तो भूल जाएं कि आप फैशन को फौलो कर रही हैं. यदि लिंजरी सही नहीं होगी तो आप की ड्रैस का गैटअप ही बिगड़ जाएगा. लेकिन यह ध्यान देना भी बहुत आवश्यक है कि आप जो लिंजरी खरीद रही हैं उस की आप कितनी जानकारी रखती हैं. यहां लिंजरी के बारे में आप को कुछ उपयोगी जानकारी दे रहे हैं:

प्लेबौय लिंजरी

प्लेबौय में आप को वैराइटियां तो मिलेंगी ही, साथ ही ये आप की फिगर को परफैक्ट शेप भी देंगी. यदि आप ब्रा खरीद रही हैं, तो ऐसी ब्रा का चुनाव करें जो आप पर फिट बैठे, साथ ही कंफर्टेबल भी हो. इन के कलैक्शन में आप को बहुत सी वैराइटियां मिल जाएंगी.

एक झलक प्लेबौय कलैक्शन पर

स्पाइसी लिंजरी सैट: यदि आप की नईनई शादी हुई है तो अपने कलैक्शन के लिए यह सैट खरीदना न भूलें. जब आप अपनी गोल्डन नाइट पर इसे पहनेंगी तो आप के वो रोमांटिक हुए बिना न रह पाएंगे. स्पाइसी लुक देती यह लिंजरी रैड कलर की है. इस में ब्लैक कलर के पोल्का डौट्स बने हैं, साथ ही टौप पर एक स्वीट सी लेस लगी है. ब्रा आप के लिए कंफर्टेबल रहे, इस के लिए इस के अंदर के हिस्से को कौटन से कवर किया गया है.

पिंक कलैक्शन: यह लिंजरी ग्लैमर और फंकी लुक देती है. यह पिंक कलर में आती है, साथ ही प्रिंटेड भी होती है. इसे पहन कर आप को महसूस होगा कि आप कितना कंफर्ट महसूस कर रही हैं. साथ ही इस में लगा प्लेबौय ब्रैंड का लेबल सब कुछ करने की और डर को दूर भगाने की हिम्मत देता है. ब्रा के मोल्डेड कप आप की ब्रैस्ट को पूरा कवर करते हैं, साथ ही यह सीमलेस भी है. इसे आप टीशर्ट ब्रा की तरह भी यूज कर सकती हैं. पैंटी का डिजाइन भी सेम है, साथ ही यह ब्रैथेबल है, जिस से आप को गरमी नहीं लगेगी.

व्हाइट कलैक्शन: सुंदर फिगर दिखाने के लिए प्लेबौय का व्हाइट कलैक्शन अच्छा है. इस में आप की ब्रैस्ट सैक्सी और ब्यूटीफुल नजर आएगी, क्योंकि इस में लगे पैड आप की ब्रैस्ट को पूरा सपोर्ट देते हुए फिट हो जाते हैं. साथ ही इस में आप को स्ट्रैपलैस ब्रा भी मिल जाएगी. जिन युवतियों के स्तन छोटे हैं उन के अनुकूल भी यह ब्रा डिजाइन की गई है. इस की पैंटी के टौप पर बन्नी लेस लगी है, जो काफी अच्छा लुक देती है.

ऐंब्रौयडरी लिंजरी सैट: यह लिंजरी नैट और लेस से बनी हुई है, साथ ही डिफरैंट कलर्स में उपलब्ध है. इस की ब्रा के कप ब्रैस्ट को पूरा कवर करते हैं. इसलिए आप ऐसे वियर के नीचे यह ब्रा पहनें, जिन में ऊपर ब्लाउज हो. इस के कप नैट ऐंब्रौयडरी से बने हैं, जो आप को परफैक्ट लुक देंगे. इस की पैंटी नैट से बनी है, साथ ही इस पर बन्नी ऐंब्रौयडरी की गई है.

इन के अलावा लिंजरी में प्लेबौय की और भी वैराइटियां हैं, जिन्हें आप अपने अनुकूल ले सकती हैं.

कुछ नमूनों के बारे में जानिए

सिल्की: यदि आप ब्रा में कुछ डिफरैंट चाहती हैं, तो इस ब्रा को पहन सकती हैं. आप के कुछ सूट्स या ब्लाउज थोड़े ट्रासपैरेंट होते हैं जिन में से झांकती ब्रा यदि सिल्क की होगी तो काफी अट्रैक्टिव लुक देगी.

टोरीटोरी: गरमी का मौसम है तो क्यों न कौटन हो जाए. आप इस ब्रा को ट्राई कर सकती हैं. यह फाइन कौटन और पौलिएस्टर नैट में उपलब्ध है. इस के कलर लाइट होंगे जैसे पिंक, सी ग्रीन व पीच. इन से गरमी भी कम लगती है.

रिलैक्स: जो ड्रैस आप पहन रही हैं यदि उस में साइड से आप की ब्रा दिखती है तो ट्रासपैरेंट स्टै्रप वाली यह ब्रा पहनें. इस से यदि यह दिख भी रही होगी तो बुरी नजर नहीं आएगी. यह आप को व्हाइट, मैरून, पिंक, स्किन, ब्लैक, रौयल ब्लू और बहुत से डिफरैंट कलर्स में मिल जाएगी.

डिक्सी: लाइक्रा फैब्रिक से बनी यह ब्रा आप की बौडी को शेप देती है. इस में ऊपर से लाइक्रा लेस भी लगी होती है, जो ग्लैमरस लुक देती है. इस के कलर्स रैड, व्हाइट, मैरून, पिंक, बौटल ग्रीन, रौयल ब्लू हैं. इन के अलावा और भी कई शेड्स हैं.

मध्यम कीमत के इनरवियर

लवेबल लिंजरी ब्रैंड लिंजरी फैशन और फिटिंग को ध्यान में रखते हुए बनाए जाते हैं. इन में लाइक्रा कौटन पर खासा ध्यान दिया जाता है, जो कंफर्टेबल होने की वजह से गरमियों में आराम से पहना जा सकता है.

टीशर्ट ब्रा: इस की खासीयत सीमलैस कप और उस पर लगी फ्लोरल लेस है, जो इस को एक खास लुक देती है. इस के पैड काफी लाइट हैं, साथ ही कंफर्टेबल बनाने के लिए इस में लाइक्रा कौटन का इस्तेमाल किया गया है. रैड कलर की यह ब्रा हौट लुकदेगी.

सीमलैस ब्रा: स्पोर्टी और ट्रैंडी पोल्का डौट के डिजाइन में यह ब्रा काफी स्पोर्टी लुक देती है, साथ ही इस के कप सीमलैस हैं. फ्लोरल डिजाइन में बनी इस ब्रा के स्ट्रैप्स काफी पतले हैं, जिन्हें आप डीप ड्रैस के साथ पहन सकती हैं.

फुल कवरेज ब्रा: इस के कप आप की ब्रैस्ट को पूरा कवर करते हैं, साथ ही इतने सौफ्ट होते हैं कि आप गरमी के मौसम में काफी कंफर्टेबल महसूस कर सकती हैं.

ब्राइडल ब्रा: यह अंडरवायर्ड ब्रा है. स्वीटहार्ट नैकलाइन, स्लिम बैक, टू टोनलैस ब्रा तो आप इस की खूबियां तो जान ही गई हैं. यह देखने में बहुत सुंदर लगती है. जब आप इसे पहनेंगी तो आप और भी ब्यूटीफुल हो जाएंगी.

बेसिक प्लेन: आप को सिर्फ प्लेन ब्रा ही पसंद है तो यह ब्रा आप के लिए सही चुनाव होगी. यह प्लेन होने के साथसाथ आप की ब्रैस्ट की फिटिंग भी सही रखेगी.

टीनऐजर्स ब्रा: यह ब्रा खासकर टीनऐज गर्ल्स के लिए बनाई गई है. यह प्लेन कौटन ब्रा है, साथ ही इस में नीचे एक बैल्ट दी गई है, जिस से वे कंफर्टेबल महसूस कर सकें और इस के शोल्डर भी कौटन के हैं.

शीना: यह फुल कप ब्रा है. इस में चिकन के कपड़े का इस्तेमाल किया गया है. यह ब्रा महिलाओं को काफी लुभाती है, साथ ही इस में नीचे की तरफ लाइनिंग भी लगाई गई है.

स्पोर्ट्स ब्रा: ब्रैथेबल होने के कारण यह ब्रा काफी पसंद की जाती है. अब खासकर जब गरमी पड़ रही है तो ऐसे में ब्रा में ब्रैथेबल फैब्रिक होना तो बेहद आवश्यक है, साथ ही यह मौइश्चर को भी कंट्रोल कर लेती है. गरमी हो या सर्दी, आप इसे हर मौसम में पहन सकती हैं.

मैटरनिटी ब्रा: जब आप की ब्रैस्ट बढ़ने लगती है और उस में पहले से अधिक कसाव सा महसूस होता है तो मैटरनिटी ब्रा पहनें. यह खासकर प्रैगनैंसी में पहनी जाती है. इसे ऐसे डिजाइन किया गया है कि शुरू के दिनों में आप फर्स्ट हुक का और अंतिम दिनों में लूजेस्ट हुक का इस्तेमाल कर सकें. 

6 उपाय दिल बचाएं

चिलचिलाती गरमी के दौरान डिहाइड्रेशन का खतरा और त्वचा पर होने वाले दुष्प्रभावों को ले कर चर्चा तो खूब होती है, लेकिन कम लोग ही जानते हैं कि तपती गरमी का असर हमारे दिल पर भी पड़ता है. गरमी के मौसम में हमारी शारीरिक प्रणाली बाहर की गरमी से शरीर का तापमान कम रखने के लिए लगातार जूझती है, लेकिन दिल इन सभी मुसीबतों को झेलता रहता है. ऐसे हालात में दिल की समस्या वाले लोगों के लिए खतरा बढ़ जाता है. लिहाजा यदि आप हृदयरोगी, हाइपरटैंशन से पीडि़त, अधिक वजन वाले और 50 साल की उम्र को पार कर चुके हैं, तो गरमी के दिनों में अपनी सुरक्षा के लिए विशेष सावधानियां बरतने की जरूरत है. तेज गरमी शरीर का अनिवार्य पानी सोख लेती है जिस कारण डिहाइड्रेशन, दिल की धड़कनों, ब्लडप्रैशर, कोलैस्ट्रौल और रक्त के गाढ़ेपन का प्रतिकूल असर पड़ता है. तापमान बढ़ने की स्थिति में कार्डियोवैस्क्युलर, सांस की तकलीफ आदि से पीडि़त व्यक्तियों की परेशानियां और बढ़ जाती हैं.

दिल पर खतरा

गरमी के मौसम में दिल के मरीजों में हीट स्ट्रोक के मामले ज्यादा देखने को मिलते हैं. आखिर अत्यधिक गरमी से कैसे दिल पर अत्यधिक दबाव पड़ता है? दरअसल, हमारा शरीर ग्लूकोज को जलाते हुए लगातार हीट ऐनर्जी पैदा करता रहता है. त्वचा से पसीना निकलते रहने और विकिरण क्रिया से शरीर के तापमान और वातावरण के तापमान के बीच संतुलन बना रहता है. हालांकि जब वातावरण का तापमान बहुत बढ़ जाता है और मौसम में नमी बढ़ जाती है, तो शरीर को ठंडा रखने की इन दोनों क्रियाओं में दिल पर बहुत अधिक जोर पड़ने लगता है. अत्यधिक गरमी के कारण कुछ खास हालात में दिल का काम करना भी बंद हो जाता है. सामान्य हालात में शरीर खुद को ठंडा रखने के लिए त्वचा तक गरम रक्तप्रवाह बढ़ाते हुए एक नियंत्रण प्रणाली रखता है. गरमी के दौरान एक स्वस्थ शरीर में त्वचा के जरीए रक्तप्रवाह 3 गुना बढ़ जाता है. दिल के मरीजों की दिल की मांसपेशियां काफी कमजोर हो सकती हैं और त्वचा की रक्तनलिकाएं गरमी बाहर निकालने के लिए पर्याप्त रूप से फैलने में असमर्थ हो सकती हैं. इस से शरीर का तापमान नियंत्रित करने में कठिनाई हो सकती है. चूंकि शरीर खुद को ठंडा रखने के लिए लगातार जूझता रहता है, इसलिए दिल को भी इस में कड़ी मेहनत करनी पड़ती है. शरीर से गरमी बाहर निकालने के लिए कमजोर दिल की संरक्षण क्षमता कम होती है, इसलिए दिल के मरीजों को तेज गरमी या नमी वाले मौसम में बाहर निकलने से बचना चाहिए. इसी तरह पसीने के साथ शरीर से सोडियम, पोटैशियम और अन्य मिनरल्स भी बाहर निकल जाते हैं, जो मांसपेशियों को बांध कर रखने, स्नायु संचरण और जल संतुलन के लिए जरूरी होते हैं. पसीने के कारण होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए शरीर हारमोन रिलीज करने लगता है ताकि नुकसान कम से कम हो और इस का भी असर कार्डियोवैस्क्युलर सिस्टम पर ही पड़ता है.

लिहाजा, सोडियम और पोटैशियम की क्षति और स्ट्रैस हारमोंस के आंतरिक स्राव के कारण दिल को अतिरिक्त कार्य करना पड़ता है और यह दिल के मरीजों के लिए घातक साबित हो सकता है. इस के अलावा दिल के कई मरीजों को मूत्रवर्धक दवाओं या बीटा ब्लौकर्स पर भी रखा जाता है. हालांकि इन में से कुछ दवाओं का नकारात्मक प्रभाव भी होता है. मूत्रवर्धक दवाओं से जहां बारबार पेशाब करने के कारण शरीर में डिहाइड्रेशन का खतरा बढ़ जाता है, वहीं बीटा ब्लौकर्स दवाओं से दिल से रक्तसंचार की तेज गति सीमित हो जाती है, जो दिल की धड़कनों की दर कम करते हुए गरमी में होने वाले बदलाव का असर कम करने के लिए पर्याप्त होती है. अत: दिल के मरीजों को गरमी के महीनों में हमेशा अपनी दवाओं से तालमेल बनाए रखने की सलाह दी जाती है.

दिल को सुरक्षित रखने के उपाय

शारीरिक गतिविधियों में थोड़ी कमी लाएं: गरमी के मौसम में शरीर को ज्यादा थकाना ठीक नहीं होता. गरमी के दौरान शरीर पहले से ही मिनरल्स और जल के नुकसान से जूझता है. ऐसे में अतिरिक्त शारीरिक कार्य या कठिन मेहनत वाले काम से बचना ही ठीक होता है. शरीर की गतिशीलता बरकरार रखने के लिए सुबह और शाम की सैर जारी रखें. जब भी धूप में जाएं तो साथ में पानी की बोतल जरूर रखें. ठंडी जगह रहें: कमजोर दिल होने के कारण आप की शारीरिक संरचना जोखिम उठाने या ऐडवैंचर के लिए उपयुक्त नहीं रहती. आप को आराम करने की जरूरत रहती है, इसलिए जहां तक संभव हो सके, ठंडी जगह रहने की कोशिश करें. घर के अंदर, पंखे और एअरकंडीशनर वाली जगह में रह कर अपने शरीर का तापमान बरकरार रखें. इस के अलावा समयसमय पर ठंडे पानी से स्नान, बाजुओं के नीचे ठंडे, गीले कपड़े या आइस पैक रखने से भी काफी राहत मिल सकती है. घर में खिड़कियों से अंदर आती रोशनी रोकने की व्यवस्था करने से भी घर को ठंडा रखा जा सकता है. अपने जरूरी कामकाज निबटाने के लिए सुबह या फिर शाम ढलने के बाद ही घर से निकलें. हवा अंदर जाने वाले कपड़े पहनें: तपती गरमी के दिनों में दिल की सेहत बनाए रखने के लिए हलके कपड़े पहनना भी जरूरी होता है. सूती हलके कपड़ों में हवा अंदरबाहर करने की क्षमता रहती है, इसलिए शरीर को ठंडा रखने के लिए गरमी के मौसम में ज्यादातर ऐसे ही कपड़े इस्तेमाल करें. चुस्त कपड़े पहनने से बचें, क्योंकि इन से त्वचा को सांस लेने में बाधा उत्पन्न होती है.

तरल पदार्थों का खूब सेवन करें: गरमी के दौरान अधिक मात्रा में तरल पदार्थों का सेवन बहुत जरूरी होता है. शरीर के डिहाइड्रेटेड रहने के बावजूद पेट या आंत संबंधी गड़बडि़यां, मूत्रस्राव, प्यास लगने के दोषपूर्ण संकेत आप को ज्यादा पेयपदार्थ लेने से रोक सकते हैं. खुराक पर नियंत्रण रखें: अपने खानपान और खुराक पर नियंत्रण रखना भी जरूरी है. गरिष्ठ और तैलीय भोजन शरीर की डिहाइड्रेशन प्रक्रिया को तेज कर सकता है. सलाद पत्ता, एवोकैडो, तरबूज और दही जैसी चीजों में पानी की मात्रा ज्यादा रहती है, इसलिए इन का सेवन अधिक करें. कमकम मात्रा में बारबार खाते रहते हुए पेट पर अधिक बोझ बढ़ाने से बचें. ठंडा सूप, सलाद और फल आप की भूख मिटाएंगे और आप के शरीर में पानी की अतिरिक्त मात्रा बनाए रखेंगे. दवाओं से तालमेल बनाए रखें: दिल की बीमारियों की कुछ दवाएं गरमी के मौसम में शरीर पर नकारात्मक असर करती हैं. अत: आप की इस दौरान ऐसी दवाओं से तालमेल बनाए रखने के लिए डाक्टर से सलाह लेनी चाहिए.   

डा. तपन घोष पारस हौस्पिटल्स, गुड़गांव

रफटफ नहीं छोरा चाहिए गोरा

उमेशजी अपनी बीवी के साथ ब्यूटी प्रोडक्ट्स की दुकान में गए. उन की बीवी ने कुछ सामान खरीदा. फिर काउंटर पर पैसे जमा करने पहुंचीं तो काउंटर पर बैठी सेल्स गर्ल ने उमेशजी की तरफ देखते हुए उन की बीवी नेहा से कहा कि उस के पास ऐसी क्रीम है जो आप के पति के चेहरे के गहरे रंग और झांइयों को पूरी तरह साफ कर देगी. नेहा ने उस क्रीम के बारे में पूरी जानकारी लेने के बाद जब पति से कहा कि यह क्रीम लगाने से आप के चेहरे का रंग साफ हो जाएगा और चमक भी आ जाएगी, तो 50 साल के उमेशजी ने मुंह बिचकाते हुए कहा कि फालतू पैसा मत खर्च करो. तर्क दिया कि अगर मर्द की जेब रुपयों से भरी हो तभी उस का चेहरा चमकता है. पर्स में रुपए न हों तो कितनी भी महंगी क्रीमें लगा ले मर्द का चेहरा चमक ही नहीं सकता. अब तक गोरेपन और चेहरे की चमक को ले कर ज्यादातर मर्दों की यही सोच होती थी. इसलिए चेहरे के गोरेपन और चमक आदि को ले कर मर्द लापरवाह बने रहते थे. राजेश खन्ना की फिल्म ‘रोटी’ में फिल्म के हीरो राजेश खन्ना और हीरोइन मुमताज पर एक गीत फिल्माया गया था, जिस में हीरो, ‘गोरे रंग पे न इतना गुमान कर, गोरा रंग 2 दिन में ढल जाएगा…’ गीत गाते हुए गोरीचिट्टी खूबसूरत हीरोइन को ज्यादा न इतराने की नसीहत देता है. मगर आज वही मर्द खुद गोरापन पाने के लिए लड़कियों से प्रतिस्पर्धा करने लगा है और बड़े ही गर्व से कहता है कि मर्दों वाली फेयरनैस क्रीम लगाओ लड़कियों वाली नहीं.

बदल चुका है जमाना और सोच

आज बाजारों में मर्दों को गोरा बनाने का दावा करने वाली क्रीमों की भरमार है. सुपरस्टार शाहरुख खान, शाहिद कपूर, जौन अब्राहम, इमरान खान सहित क्रिकेटर विराट कोहली और युवराज सिंह तक कई सैलिब्रिटीज मर्दों को गोरा बनाने वाली क्रीमों को बढ़ावा देने का प्रचार कर रहे हैं. कई साल पहले शाहरुख खान ने एक कंपनी की क्रीम के विज्ञापन में एक सांवले से लड़के को डांटते हुए सलाह दी थी कि मर्द हो कर लड़कियों वाली क्रीम लगाते हो. मर्दों की फेयरनैस क्रीम लगाओ. हिंदी फिल्मों में विलेन और कैरेक्टर रोल करने वाले पटना के पंकज त्रिपाठी कहते हैं कि अब मर्द भी लड़कियों की तरह सुंदर और गोरा बनना चाहते हैं. भीड़ से अलग दिखने के लिए वे भी बढ़चढ़ कर गोरापन बढ़ाने वाली क्रीमों का इस्तेमाल करने लगे हैं. इसीलिए ब्यूटी प्रोडक्ट्स बनाने वाली कंपनियां मर्दों को गोरा बनाने का दावा करने वाली नित नई क्रीमें बाजार में उतार रही हैं. इस से मर्दों में भी चेहरे को निखारने की चाहत तेजी से बढ़ रही है.

फ्लिपकार्ट में काम करने वाले कंप्यूटर इंजीनियर ऋषभ सिन्हा का मानना है कि अपोजिट सैक्स को लुभाने के लिए जैंट्स भी अब खुल कर सुंदर और गोरा बनाने वाली क्रीमों का उपयोग करने लगे हैं. कुछ साल पहले तक यही सोचा जाता था कि मर्दों को रफटफ और उन की कमाई देख कर ही लड़कियां उन की दीवानी होती हैं. यानी रफटफ होना ही मर्दानगी की निशानी माना जाता था. मगर अब जमाना और सोच दोनों बदल चुके हैं. मर्द भी सुंदर, गोरा, साफसुथरा, चिकना दिखने की होड़ में लग गए हैं. सुंदर दिखने के लिए लड़के ब्यूटी क्रीमों और ब्यूटीपार्लरों में काफी पैसा खर्च करने लगे हैं.

मर्दों की पसंद

रांची में ब्यूटी प्रोडक्ट्स का कारोबार करने वाले उमेश जायसवाल बताते हैं कि लड़के भी लड़कियों की तरह ब्यूटीफुल और फेयर दिखने के लिए तरहतरह के कौस्मैटिक प्रोडक्ट्स का धड़ल्ले से इस्तेमाल करने लगे हैं. मर्दों के कौस्मैटिक प्रोडक्ट्स में फेयरनैस क्रीम की डिमांड सब से ज्यादा तेजी से बढ़ रही है. इस के साथ ही कंडीशनर, जैल, सीरम, स्क्रब, मैंस ब्लीच, फेसवाश, मैन्स मौइश्चराइजर, सनस्क्रीन लोशन, स्किन बाम, लिप बाम, परफ्यूम, डियोड्रैंट, आई जैल भी मर्दों की पसंद बन चुके हैं. इतना ही नहीं अब मर्दों के लिए हेयर रिमूवर और नो मार्क्स जैंट्स क्रीम भी बाजार में आ चुकी है. गाजियाबाद में इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहा गोरखपुर का रहने वाला किशन राय कहता है कि लड़कों में भी अपनी त्वचा के रंग के प्रति जागरूकता बढ़ रही है और यह कोई बुरी बात नहीं है. परफैक्ट मैन बनने के लिए यह भी जरूरी उपाय है. कहीं भी पहला इंप्रैशन रंगरूप और पहनावे का ही पड़ता है. उस के बाद ही बोलने का तरीका और जानकारी की बात आती है.

बढ़ रही है मांग

आज अगर गोरीचिट्टी लड़की की शादी किसी गहरे सांवले रंग वाले लड़के से होती है तो जरा सोचिए उस के मन पर क्या गुजरती होगी. लड़का भले ही पढ़ालिखा हो, अच्छी नौकरी करता हो, लेकिन अगर उस का रंग गहरा हो तो लड़की का मन दुखी होता ही है. शहनाज ब्यूटी की फ्रैंचाइजी चलाने वाली सीमा सिन्हा कहती हैं कि लड़कों में गोरा रंग पाने की बढ़ती दीवानगी समाज और परिवार के लिए भी अच्छी बात है. इस से अब किसी शादी को बेमेल नहीं कहा जा सकेगा. अगर किसी लड़के का रंग सांवला है, तो वह क्रीम, ब्लीच सहित और कई तरह के ट्रीटमैंट्स के जरीए अपने रंग को निखार सकता है और विवाह के समय लड़की और मेहमानों पर अच्छा इंप्रैशन बना सकता है. मर्दों को गोरा बनाने वाली क्रीमों और बाकी कौस्मैटिक प्रोडक्ट्स का बाजार तेजी से बढ़ रहा है. एक सर्वे के मुताबिक 2010 में इन प्रोडक्ट् कस कारोबार करीब 42 करोड़ रुपए का था जो 2014 तक 280 करोड़ रुपए के पास पहुंच गया. पिछले दिनों एक कंपनी ने अपने सर्वे रिपोर्ट में कहा कि 2016 तक भारत में मैन्स कौस्मैटिक प्रोडक्ट्स की मार्केट क्व5 हजार करोड़ से ज्यादा की हो जाएगी.

दावों में कितनी सचाई

इन प्रोडक्ट्स को ले कर लोगों के मन में अकसर ये सवाल भी उठते रहे हैं कि इन के कोई साइड इफैक्ट्स होते हैं? क्या मर्दों को गोरा बनाने वाली क्रीमें अपने दावों पर खरी उतरती हैं? इस संबंध में स्किन स्पैशलिस्ट डाक्टर सुधांशु कुमार कहते हैं कि गोरा बनाने वाली क्रीमें स्किन में मौजूद मैलेनिन को कम कर देती हैं. ‘धूप में निकला न करो रूप की रानी…’ गाना गाने वाला मर्द आज खुद ही अपने चेहरे को धूप से बचाने की जद्दोजहद में लग गया है. उसे भी यह चिंता सताने लगी है कि धूप में निकलने से उस के चेहरे का रंग कहीं काला न पड़ जाए. इस के लिए वह धूप में निकलने से बचने लगा है और अगर निकलना जरूरी हो तो सनस्क्रीन लोशन लगाने लगा है. सुंदरता और गोरेपन पर अब केवल लड़कियों का ही एकाधिकार नहीं रह गया है, मर्दों ने बड़ी ही मर्दानगी के साथ उन्हें टक्कर दी है. इस से लड़कियां भी खुश हो रही होंगी कि अब उन का जीवनसाथी काला या सांवला नहीं होगा.

लजीज ए लजीज फ्रैंकी

सामग्री

200 ग्राम राजमा उबले

2 पीस ब्रैडक्रंब्स

1 प्याज बारीक कटा

लालमिर्च पाउडर स्वादानुसार

2 छोटे चम्मच घी

1/2 छोटा चम्मच गरममसाला

1/4 छोटा चम्मच सिरका

1/4 छोटा चम्मच अजीनोमोटो

1/4 कप नूडल्स उबले, नमक स्वादानुसार

सामग्री रोटियों के लिए

2 कप गेहूं का आटा

1/2 कप बेसन

1 छोटा चम्मच बेकिंग पाउडर

1 बड़ा चम्मच तेल

2 छोटे चम्मच टोमैटो सौस रोटियों पर लगाने के लिए

नमक स्वादानुसार.

विधि

राजमा में नमक, मिर्च, प्याज, ब्रैडकं्रब्स, गरममसाला, सिरका, अजीनोमोटो मिला कर गोलगोल कटलेट बना लें. अब इन के ऊपर नूडल्स लपेट दें. ऊपर से ब्रश से घी लगा कर अलग रख दें.

विधि रोटियों की

रोटियों के लिए सारी सामग्री को मिला कर आटा गूंध लें. फिर पतलीपतली रोटियां बेल कर धीमी आंच पर तवा गरम कर दोनों तरफ से बारीबारी से रोटियां सेंक लें. घी लगा कर सौस लगाएं. फिर कटलेट को रोटी में रख कर लपेट कर तुरंत गरमगरम परोसें.

स्ट्रौंग पाक

सामग्री

1/4 कप अरहर की दाल

3/4 कप चने की दाल

3 1/2 कप चीनी

4 इलायची

5-6 बड़े चम्मच नारियल कटा

20-25 काजू

2 कप घी

1/2 लिटर पानी.

विधि

अरहर व चने की दाल को सूखी कड़ाही में डाल कर भून लें. ठंडा होने पर मिक्सी में पीस लें. चीनी व पानी को पका कर 1 तार की चाशनी बना लें. थोड़ा घी चाशनी में डाल कर हिलाएं. अब दाल पाउडर थोड़ाथोड़ा कर डालती जाएं. जब तक मिश्रण गाढ़ा न हो जाए लगातार हिलाती रहें. अब बाकी बचा घी डाल दें ताकि अच्छी तरह भुन जाए. जब मिश्रण घी अच्छी तरह छोड़ दे तो उसे घी लगी थाली में फैला दें. चाकू से मनचाहे आकार में काटें. नारियल व काजू बुरक कर परोसें.

क्रिस्पी कबाब

सामग्री

1 कप मसूर दाल धुली

1 कप मूंग दाल धुली

1 कप खसखस

टोमैटो सौस जरूरत के अनुसार

2 बड़े चम्मच हरा धनिया

3 बड़े चम्मच मैदा

1 बड़ा चम्मच देगी मिर्च

हरीमिर्च स्वादानुसार

1/2 बड़ा चम्मच अदरक

4 बड़े चम्मच काले चने उबले

1/4 छोटा चम्मच गरममसाला

1 बड़ा चम्मच अमचूर

तलने के लिए तेल

नमक स्वादानुसार.

विधि

मसूर दाल को हलका सा उबाल लें. पानी निथार कर अलग रखें. इस में नमक, हरीमिर्च, देगी मिर्च, धनिया, अदरक और गरममसाला मिक्स करें. फिर आधा अमचूर मिला दें. मूंग की दाल को 2 घंटे भिगो कर पानी निकाल दें. मिक्सी में दरदरा पीस लें. नमक व अमचूर मिक्स करें. मैदे का घोल बना लें. खसखस को एक प्लेट में फैला दें. अब हथेली पर मूंग की दाल का पेस्ट रख कर उस में मसूर की दाल व चना भर कर कबाब का आकार दें. फिर मैदे के घोल में डुबो कर खसखस लपेटें और गरम तेल में कबाब को सुनहरा होने तक तल कर टोमैटो सौस के साथ गरमगरम सर्व करें.

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