सूरजपाल सिंह उर्फ नारायण साकार हरि भोले बाबा मूल रूप से कांशीराम नगर (कासगंज) में पटियाली तहसील के बहादुरनगर का निवासी है. पहलेपहल उत्तर प्रदेश पुलिस की नौकरी कर रहा था. बताया जाता है कि पुलिस की अभिसूचना इकाई (एलआइयू) में खुफिया सूचनाओं के इकट्ठे करने का काम किया करता था. अचानक सूरज पाल सिंह ने 1997 में पुलिस सेवा से स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ले लिया और धार्मिक प्रवचन करने लगे.

फिर आगे सूरजपाल से भोले बाबा बन गया और घर को आश्रम में तबदील कर टार्च (ज्ञान) बेचने वाला बन गया.

धर्म की दुकानदारी

लगभग हरएक धर्म के दुकानदार की शुरुआत ऐसे ही होती है। अब जब हाथरस में प्रवचन के बाद अनेक लोगों की मौत हो गई है, मुख्यमंत्री आदित्य नाथ योगी ने कड़ी काररवाई की बात कही है। देखना है यह कड़ी काररवाई क्या होगी?

तथ्य है कि लगभग ढाई लाख लोग सत्संग कार्यक्रम में पहुंचे थे और कोई भी इंतजाम सुरक्षा का नहीं किया गया था. सत्संगस्थल पर न ही ऐबुलेंस की व्यवस्था थी न कोई पुलिस की व्यवस्था और न ही अग्नि शमन और बेसिक चिकित्सा व्यवस्था थी. कथित बाबा पर कई यौन शोषण के मामले भी दायर हैं.

खामियां ही खामियां

उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले के सिकंदराराऊ क्षेत्र में आयोजित कथित बाबा साकार विश्व हरि भोले बाबा के सत्संग में 2 जुलाई, 2024 दिन मंगलवार को भगदड़ मच गई, जिस में 121 लोगों की मौत की खबर है. इस में सैकड़ों घायल भी हो गए हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों की मौत पर दुख जताते हुए पीड़ितों को हरसंभव मदद का आश्वासन दिया.

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